भारत-पाक सीमा पर घटने लगी दोनों देशों के सैनिकों की संख्या, पहले जैसी हो रही स्थिति!
पाकिस्तान के संयुक्त चीफ ऑफ स्टाफ के अध्यक्ष जनरल साहिर शमशाद मिर्जा ने रॉयटर्स को दिए एक इंटरव्यू में कहा है कि दोनों सेनाओं ने सीमा पर सैनिकों की संख्या कम करने की प्रक्रिया शुरू कर दी है. मिर्जा ने खुलकर बॉर्डर की स्थिति के बारे में बताया कि "हम लगभग 22 अप्रैल से पहले की स्थिति में वापस आ गए हैं या हम उस स्थिति के करीब पहुंच रहे हैं, अगले कुछ दिनों में और भी करीब आ जाएंगे.'

भारत और पाकिस्तान के बीच पिछले 1 महीने से चल रहे तनाव पर विराम लग चुका है. सीजफायर सहमति के बाद सीमा पर माहौल काफी शांतिपूर्ण दिखाई दे रहा है. एक तरीके से कहा जाए, तो पुराने दिन लौटने लगे हैं. 7 मई से लेकर 11 मई तक कुल 4 दिनों तक दोनों देशों के बीच तनाव देखने को मिला. एक पाक अधिकारी ने बताया है कि भारत-पाकिस्तान सीमा पर अब सैनिकों की वापसी होनी शुरू हो चुकी है, क्योंकि दोनों तरफ से बिगड़े हालात को देखते हुए भारी संख्या में सेना के जवानों की तैनाती की गई थी.
भारत-पाक सीमा पर पुराने दिन लौटने लगे
बता दें कि पाकिस्तान के संयुक्त चीफ ऑफ स्टाफ के अध्यक्ष जनरल साहिर शमशाद मिर्जा ने रॉयटर्स को दिए एक इंटरव्यू में कहा है कि 'दोनों सेनाओं ने सीमा पर सैनिकों की संख्या कम करने की प्रक्रिया शुरू कर दी है.' मिर्जा ने खुलकर बॉर्डर की स्थिति के बारे में बताया कि "हम लगभग 22 अप्रैल से पहले की स्थिति में वापस आ गए हैं या हम उस स्थिति के करीब पहुंच रहे हैं, अगले कुछ दिनों में और भी करीब आ जाएंगे.'
संघर्ष के दौरान परमाणु हथियारों का इस्तेमाल नहीं हुआ
सिंगापुर में मौजूद मिर्जा ने यह भी कहा कि इस संघर्ष के दौरान परमाणु हथियारों की ओर से कोई कदम नहीं उठाया गया, लेकिन यह एक खतरनाक स्थिति थी. अभी आने वाले भविष्य में तनाव बढ़ने का जोखिम बढ़ गया है. यह (संघर्ष) दो ऐसे देशों के बीच सीमा को कम करता है जो परमाणु शक्ति से जुड़े हुए हैं. यह एक बहुत ही खतरनाक प्रवृत्ति है. अगर तनाव कम करने के लिए कोई बैकचैनल चर्चा या अनौपचारिक बातचीत नहीं हुई. तो इन मुद्दों को केवल बातचीत और परामर्श से ही सुलझाया जा सकता है. यह युद्ध के दौरान नहीं सुलझ सकता है.
दोनों देशों के बीच कैसे बढ़ा तनाव
बता दें कि 22 अप्रैल को पहलगाम में हुए आतंकियों ने 26 पर्यटकों को निशाना बनाया था. जिहादी सोच वाले आतंकवादियों ने लोगों से उनका धर्म पूछकर गोली मारी थी. इस हमले के बाद पूरा देश सरकार से सिर्फ बदले की मांग कर रहा था. जिसके बाद भारत ने करीब 15 दिन बाद खास रणनीति के तहत ऑपरेशन सिंदूर चलाते हुए लश्कर और जैश के आतंकियों को ढेर कर दिया था. उसके बाद पाक ने भारत के ऊपर कई ड्रोन हमले किए, लेकिन सभी कोशिशें नाकाम रहीं. भारत के मजबूत एयर डिफेंस सिस्टम ने सभी ड्रोन और मिसाइलों को हवा में ही मार गिराया.