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अगर टॉयलेट में बैठे रहते हैं घंटों तो करें ये योग आसन, कभी नहीं होगी कब्ज की समस्या

भारत सरकार के आयुष मंत्रालय के अनुसार पद्मासन या कमलासन करने से कई शारीरिक और मानसिक लाभ मिलते हैं. पद्मासन ध्यान और शांति बढ़ाने में मदद करता है. यह मस्तिष्क को शांत करता है. साथ ही तनाव और चिंता को भी कम करता है.

05 Jul, 2025
( Updated: 04 Dec, 2025
10:30 AM )
अगर टॉयलेट में बैठे रहते हैं घंटों तो करें ये योग आसन, कभी नहीं होगी कब्ज की समस्या

योग हमारे जीवन का अभिन्न हिस्सा है और पद्मासन इसका एक महत्वपूर्ण आसन है. इसे 'कमलासन' भी कहते हैं, क्योंकि इसकी मुद्रा कमल के फूल जैसी दिखती है. नियमित रूप से पद्मासन करने से शारीरिक और मानसिक स्वास्थ्य को कई लाभ मिलते हैं. 

पद्मासन के फायदे 
भारत सरकार के आयुष मंत्रालय के अनुसार पद्मासन या कमलासन करने से कई शारीरिक और मानसिक लाभ मिलते हैं. पद्मासन ध्यान और शांति बढ़ाने में मदद करता है.  यह मस्तिष्क को शांत करता है.  साथ ही तनाव और चिंता को भी कम करता है. 

पाचन तंत्र को रखे मजबूत
यह आसन पेट के अंगों को उत्तेजित करता है, जिससे पाचन तंत्र मजबूत होता है और कब्ज जैसी समस्याएं दूर होती हैं. यह आसन रीढ़ को सीधा रखता है, जिससे पीठ दर्द और गलत मुद्रा में बैठकर काम करने से होने वाली कई समस्याओं में सुधार होता है.

शरीर में बढ़ती है एनर्जी 
साथ ही यह कूल्हों, घुटनों और टखनों को लचीला बनाता है, जिससे गठिया की वजह से होने वाले दर्द में राहत मिलती है. यही नहीं, यह ब्लड सर्कुलेशन को बेहतर करता है, जिससे थकान कम होती है और शरीर की एनर्जी बढ़ती है.

पद्मासन करने का सही तरीका
हेल्थ एक्सपर्ट पद्मासन करने की सरल विधि विस्तार से समझाते हैं. इसके लिए साफ और शांत जगह का चुनाव करना चाहिए. अब जमीन पर सीधे बैठें और दोनों पैरों को सामने की ओर फैलाएं. दाहिने पैर को मोड़कर बाएं जांघ पर रखें, ताकि एड़ी नाभि के पास हो और बाएं पैर को मोड़कर दाहिनी जांघ पर रखें. दोनों पैरों की एड़ियां एक-दूसरे के पास हों. इसके बाद रीढ़ सीधी रखें, दोनों हाथ घुटनों पर ज्ञान मुद्रा में रखें. सही मुद्रा में बैठने के बाद गहरी सांस लें और 1-2 मिनट तक इस मुद्रा में ही रहें. शुरुआत में इस आसन को 20 से 30 ही करना चाहिए. इसके बाद धीरे-धीरे समय बढ़ाना चाहिए.

पद्मासन करने से पहले बरते सावधानी
हालांकि, हेल्थ एक्सपर्ट कुछ सावधानियां बरतने की भी सलाह देते हैं. यदि घुटनों या कूल्हों में दर्द है, तो इस आसन को जबरदस्ती नहीं करना चाहिए. प्रेग्नेंट महिलाओं या हाल ही में सर्जरी करवाने वालों को भी डॉक्टर की सलाह के बाद यह आसन करना चाहिए. खाली पेट या भोजन के 3-4 घंटे बाद इस आसन को करना चाहिए.

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Disclaimer: इस लेख में दी गई जानकारी केवल सामान्य ज्ञान और जागरूकता के उद्देश्य से है. प्रत्येक व्यक्ति की स्वास्थ्य स्थिति और आवश्यकताएं अलग-अलग हो सकती हैं. इसलिए, इन टिप्स को फॉलो करने से पहले अपने डॉक्टर या किसी विशेषज्ञ से सलाह जरूर लें.

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