PNS Ghazi की तरह होगा PAK Navy का हाल, मई के अंत तक रूस से भारत आ रहा पाकिस्तान का काल 'तमाल' युद्धपोत
मई के अंत तक पाकिस्तान और पाक नेवी का काल 'तमाल' भारत को मिल जाएगा. पाक से तनातनी के बीच ब्रह्मोस मिसाइल से लैस तलवार श्रेणी के युद्धपोत से आतंकिस्तान का हाल ख़राब हो गया है.

पहलगाम आतंकी हमले के बाद भारत और पाकिस्तान में तनाव बढ़ता जा रहा है. हिंदुस्तान, आतंकिस्तान पर सैन्य कार्रवाई अपने तय समय और इच्छा के अनुसार कर सकता है. तीनों सेनाओं की तैयारियों को पुख्ता किया जा रहा है. इसी सिलसिले में भारत को रूस से दुनिया के सबसे उन्नत मल्टी-रोल स्टील्थ गाइडेड मिसाइल फ्रिगेट्स में से एक ‘तमाल’ मिलने जा रहा है. कहा जा रहा है कि यह इसी महीने के अंत तक नेवी को मिल जाएगा, जिसकी तारीख 28 मई बताई जा रही है.
पाकिस्तान में आतंकी नेटवर्क के खिलाफ रणनीतिक योजना और कार्रवाई के लिहाज से तमाल का होना काफी घातक साबित होने वाला है. इसे रूस के यांतर शिपयार्ड में बनाया गया है. यह युद्धपोत घातक ब्रह्मोस एंटी-शिप मिसाइल लॉन्च करने में सक्षम है.— Sputnik India (@Sputnik_India) May 5, 2025
BREAKING:
India to receive second Talwar-class warship, Tamal, on May 28: Sources to Sputnik India
भारत को 28 मई को दूसरा तलवार श्रेणी का युद्धपोत, तमाल मिलेगा: सूत्रों ने Sputnik India को बताया pic.twitter.com/wvESAo5F2Z
2016 में हुए भारत-रूस समझौते का परिणाम है तलवार श्रेणी के फ्रिगेट्स
भारत और रूस के बीच 2016 में हुए समझौते के तहत चार तलवार-श्रेणी के स्टील्थ फ्रिगेट्स (तुशील, तमाल, त्रिपुर और तवाश्य) का निर्माण, दो रूस में और दो भारत में किया जाना था. इसी समझौते के तहत दूसरा युद्धपोत अब तैयार है. इसे जून 2025 तक भारतीय नौसेना में शामिल किए जाने की उम्मीद है.
भारत को 28 मई को सौंपा जाएगा तमाल
मिडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक रूस ‘तमाल’ को आगामी 28 मई को भारत को सौंपेगा. रूस में निर्मित दो फ्रिगेट्स में से पहला INS Tushil पहले ही भारतीय नौसेना में शामिल हो चुका है. रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने पिछले साल यानी 9 दिसंबर को अपने रूस दौरा के दौरान तुशील को नेवी में शामिल किया था, ये अब भारत पहुंच भी चुका है.
ब्रह्मोस मिसाइलों से लैस हैं तलवार क्लास के फ्रिगेट
ये फ्रिगेट ब्रह्मोस मिसाइलों से लैस हैं और इन्हें समुद्री सुरक्षा के लिए इस्तेमाल किया जाता है. ये फ्रिगेट्स दुश्मन की पनडुब्बियों और बड़े सतही जहाजों को ढूंढने और नष्ट करने में सक्षम हैं.
तमाल और तलवार क्लास श्रेणी के युद्धपोत की खासियत
ब्रह्मोस मिसाइल से लैस तलवार श्रेणी के 4 युद्धपोत, तुशील और तमाल, सुपरसोनिक ब्रह्मोस मिसाइल दाग सकता है, जो इसे दुश्मन के जहाजों के लिए बड़ा खतरा बनाता है.
— Sputnik India (@Sputnik_India) May 5, 2025
India's SECOND Tawal-class frigate COMING SOON
The Tamal, India’s second stealth frigate, will be handed over to the Indian Navy on May 28, sources confirmed to Sputnik India.
Learn more about this defence frigatepic.twitter.com/gMYKfrOVjy
पनडुब्बी हमले से बचने में सक्षम तकनीकों और हथियारों से लैस:
तमाल में उन्नत श्रेणी के पनडुब्बी रोधी रॉकेट और टॉरपीडोज हैं, जो पानी के नीचे के खतरों का मुकाबला करने में मदद करते हैं.
तमाल का स्टील्थ डिज़ाइन बनाता है इसे ख़ास: यह दुश्मन के रडार से बचने के लिए बनाया गया है, जिससे आधुनिक युद्ध की क्षमता बढ़ती है.
भारी भरकम वजन फिर भी तेज़ और घातक: करीब 3,900 टन वजनी यह युद्धपोत भारी हथियारो से लैस होने के बावजूद घातक और तेज़ है.
तमाल विदेश से आयातित आखिरी जहाज
2003 से ही भारतीय नौसेना में तलवार क्लास के वॉरशिप शामिल किए जा रहे हैं. कई खेप मिल भी चुके हैं. जानाकारी के मुताबिक इंडियन नेवी के पास इस समय तलवार श्रेणी के 6 जंगी जहाज मौजूद हैं. सरकार की आत्मनिर्भर भारत मुहिम के तहत भारतीय नौसेना स्पष्ट कर चुकी है कि INS तमाल के बाद विदेश से कोई जंगी जहाज नहीं खरीदा जाएगा और स्वदेश में ही इनके निर्माण पर जोर दिया जाएगा. करीब 9 साल पहले हुए 4 तलवार श्रेणी के फ्रिगेट्स में भी इस बात पर जोर दिया गया था कि 2 रूस में बनेंगे और 2 देश में बनेंगे, जिसमें एक तरह से टेक्नोलॉजी ट्रांसफर पर जोर दिया जाएगा.