Advertisement

दुनिया के सबसे अमीर राजा, लेकिन फिर भी मुकेश अंबानी से पीछे क्यों?

थाईलैंड के राजा महा वजिरालोंगकोर्न, जिन्हें किंग राम X के नाम से जाना जाता है, दुनिया के सबसे अमीर शासकों में से एक हैं। उनकी संपत्ति $40 बिलियन (₹3.2 लाख करोड़) से अधिक आंकी गई है। उनके खजाने में 545.67 कैरेट का गोल्डन जुबली डायमंड, 300 लग्जरी गाड़ियां, 38 निजी विमान, और सोने से सजी नावें शामिल हैं।
दुनिया के सबसे अमीर राजा, लेकिन फिर भी मुकेश अंबानी से पीछे क्यों?
थाईलैंड के राजा महा वजिरालोंगकोर्न (King Maha Vajiralongkorn), जिन्हें किंग राम X के नाम से भी जाना जाता है, दुनिया के सबसे अमीर शासकों में से एक हैं। उनकी संपत्ति और भव्य जीवनशैली इतनी विशाल है कि इसे शब्दों में बयां करना चुनौतीपूर्ण हो जाता है। उनके पास अकल्पनीय संपत्ति है, जिसमें बेशकीमती हीरे, आलीशान महल, अनगिनत लग्जरी गाड़ियां और करोड़ों के हवाई जहाज शामिल हैं।

लेकिन, दिलचस्प बात यह है कि इतनी संपत्ति होने के बावजूद भी राजा वजिरालोंगकोर्न भारत के मुकेश अंबानी और गौतम अडानी जैसे उद्योगपतियों की संपत्ति के करीब नहीं पहुंच पाते। आइए, इस अनोखे और चौंकाने वाले जीवन पर नज़र डालते हैं। फाइनेंशियल टाइम्स की रिपोर्ट के मुताबिक, थाईलैंड के राजा की कुल संपत्ति $40 बिलियन (करीब ₹3.2 लाख करोड़) से अधिक आंकी गई है। यह संपत्ति उन्हें दुनिया के सबसे अमीर राजाओं की सूची में सबसे ऊपर रखती है। राजा की संपत्ति में विशाल ज़मीन, कंपनियों में हिस्सेदारी और कीमती रत्न शामिल हैं।

उनकी ज़मीन की बात करें तो थाईलैंड में उनके पास 16,210 एकड़ जमीन है। सिर्फ बैंकॉक में ही उनके पास करीब 17,000 संपत्तियां हैं। इसके अलावा, राजा वजिरालोंगकोर्न का सियाम कमर्शियल बैंक (थाईलैंड का दूसरा सबसे बड़ा बैंक) में 23% और सियाम सीमेंट ग्रुप (देश की सबसे बड़ी औद्योगिक कंपनी) में 33.3% हिस्सेदारी है।
545.67 कैरेट का हीरा और अन्य खजाने
थाईलैंड के राजा के पास गोल्डन जुबली डायमंड नाम का 545.67 कैरेट का हीरा है, जो दुनिया का सबसे बड़ा और सबसे मूल्यवान हीरा माना जाता है। इसकी अनुमानित कीमत ₹98 करोड़ है। यह अनमोल हीरा उनके खजाने का सिर्फ एक हिस्सा है। राजा के खजाने में न केवल रत्न और हीरे हैं, बल्कि उनकी शाही संपत्ति में सोने से जड़े हुए जहाज, ऐतिहासिक महत्व के शाही गहने और अन्य बेशकीमती वस्तुएं भी शामिल हैं। किंग वजिरालोंगकोर्न की विलासिता की झलक उनके वाहन संग्रह में भी मिलती है। उनके पास 38 निजी विमान और 21 हेलीकॉप्टर हैं। इनमें बोइंग, एयरबस और सुखोई सुपरजेट जैसे महंगे मॉडल शामिल हैं। इनकी सालाना रखरखाव लागत ही करीब ₹524 करोड़ है।

इसके अलावा, उनके पास 300 से अधिक लग्जरी कारों का कलेक्शन है। इसमें मर्सिडीज-बेंज और लिमोज़ीन जैसी गाड़ियां शामिल हैं। राजा के पास सोने से सजे 52 शाही नावों का भी बेड़ा है, जो उनकी शाही परंपरा को दर्शाता है। राजा वजिरालोंगकोर्न के पास थाईलैंड में एक भव्य महल है, जिसका क्षेत्रफल 2.35 मिलियन वर्ग फीट है। लेकिन दिलचस्प बात यह है कि राजा इसमें नहीं रहते। इसके बजाय, वह ज्यादातर समय यूरोप में बिताते हैं। उनकी जीवनशैली को लेकर हमेशा चर्चाएं होती रहती हैं।
फिर भी मुकेश अंबानी से पीछे क्यों?
इतनी दौलत और संपत्ति होने के बावजूद राजा वजिरालोंगकोर्न भारतीय अरबपतियों जैसे मुकेश अंबानी और गौतम अडानी की संपत्ति से काफी पीछे हैं। मुकेश अंबानी की कुल संपत्ति लगभग ₹8 लाख करोड़ है, जो किंग वजिरालोंगकोर्न की संपत्ति से दोगुनी से अधिक है। इसका कारण यह है कि राजा की संपत्ति मुख्य रूप से थाईलैंड की राष्ट्रीय संपत्ति से जुड़ी है, जबकि मुकेश अंबानी और गौतम अडानी की संपत्ति उनके व्यवसाय के मुनाफे पर आधारित है।

राजा वजिरालोंगकोर्न की विलासितापूर्ण जीवनशैली और उनके निर्णय अक्सर विवादों में रहे हैं। उनकी जीवनशैली को लेकर थाईलैंड में कई बार आलोचना भी हुई है, लेकिन उनकी संपत्ति और अधिकारों को कोई चुनौती नहीं दे सकता। किंग महा वजिरालोंगकोर्न की कहानी भले ही शाही वैभव और दौलत की हो, लेकिन यह यह भी दर्शाती है कि दौलत और प्रभाव के बावजूद, उनकी संपत्ति सीमित दायरे में है। उनकी संपत्ति उनकी संस्कृति और परंपराओं का प्रतीक है, जबकि भारतीय उद्योगपति वैश्विक व्यापार और निवेश की शक्ति का प्रतीक बन चुके हैं।
Advertisement
Advertisement