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बांग्लादेश की पूर्व पीएम शेख हसीना को 6 महीने की सजा, जानें किस मामले में ठहराई गईं दोषी

बांग्लादेश की पूर्व प्रधानमंत्री शेख हसीना को अदालत की अवमानना के आरोप में दोषी ठहराया गया है और छह महीने जेल की सजा सुनाई गई है. अंतरराष्ट्रीय अपराध न्यायाधिकरण ने सजा का एलान किया है.

02 Jul, 2025
( Updated: 03 Jul, 2025
10:11 AM )
बांग्लादेश की पूर्व पीएम शेख हसीना को 6 महीने की सजा, जानें किस मामले में ठहराई गईं दोषी

बुधवार को तीन सदस्यों वाली पीठ ने शेख हसीना पर यह फैसला सुनाया. बांग्लादेशी मीडिया के अनुसार, अंतरराष्ट्रीय अपराध न्यायाधिकरण की पीठ की अध्यक्षता जस्टिस मोहम्मद गुलाम मुर्तजा मजूमदार ने की. यह पहली बार है जब किसी मामले में शेख हसीना को जेल की सजा सुनाई गई है.

शेख हसीना को 6 महीने की जेल 

बांग्लादेश की पूर्व प्रधानमंत्री शेख हसीना को अदालत की अवमानना के आरोप में दोषी ठहराया गया है और छह महीने जेल की सजा सुनाई गई है. अंतरराष्ट्रीय अपराध न्यायाधिकरण ने सजा का एलान किया है.

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स्थानीय मीडिया रिपोर्ट में इस बात की जानकारी सामने आई है. The Dhaka Tribune की रिपोर्ट के मुताबिक, यह फैसला जस्टिस मोहम्मद गुलाम मुर्तुजा मोजुमदार की अध्यक्षता वाली इंटरनेशनल क्राइम ट्रिब्यूनल-1 की तीन सदस्यों वाली बेंच ने सुनाया है.

मुझे 227 लोगों को मारने का मिला लाइसेंस

मीडिया रिपोर्ट्स के अनुसार, बीते साल शेख हसीना की एक ऑडियो क्लिप लीक हुई थी. यह ऑडियो क्लिप सोशल मीडिया पर वायरल हुई और उसके बाद बांग्लादेशी मीडिया ने भी इसे प्रसारित किया था. इस ऑडियो क्लिप में कथित तौर पर शेख हसीना गोबिंदगंज उपजिला चेयरमैन शकील बुलबुल से बात कर रहीं थी, जिसमें उन्होंने कहा कि मेरे खिलाफ 227 मामले दर्ज हुए हैं, इसलिए मुझे 227 लोगों को मारने का लाइसेंस मिल गया है. अदालत की अवमानना के मामले में अंतरराष्ट्रीय अपराध न्यायाधिकरण शकील बुलबुल को भी दो महीने जेल की सजा सुना चुका है.

अंतरराष्ट्रीय अपराध न्यायाधिकरण ने शेख हसीना के बयान को अवज्ञा माना और उन्हें अदालत को कमतर आंकने का दोषी ठहराया. अदालत ने कहा कि जब दोषी कोर्ट में आत्मसमर्पण कर देंगे या पुलिस द्वारा उन्हें गिरफ्तार कर लिया जाएगा, उसके बाद ही सजा शुरू होगी. यह सश्रम कारावास नहीं होगा. 30 अप्रैल को अंतरराष्ट्रीय अपराध न्यायाधिकरण के मुख्य अभियोजक ताजुल इस्लाम ने न्यायाधिकरण के सामने मामले को पेश किया था और शेख हसीना के बयान को पीड़ितों और गवाहों को धमकाने की कोशिश बताया. जांचकर्ताओं ने फोरेंसिक जांच के आधार पर बताया कि ऑडियो क्लिप में शेख हसीना की ही आवाज है. 

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