'मुझसे ही निपट लो प्रधानमंत्री आएंगे तो तकलीफ ज्यादा होगी...', विपक्ष के हंगामे पर अमित शाह का तीखा जवाब, कहा - इनको ज्यादा सुनने का शौक है
राज्यसभा सत्र के दौरान बुधवार को गृह मंत्री अमित शाह ने जैसे ही 'ऑपरेशन सिंदूर' पर अपने भाषण की शुरुआत की, वैसे ही विपक्षी दलों ने हंगामा करना शुरू कर दिया. इस दौरान अमित शाह को कई बार अपना भाषण रोकना पड़ा, जिसका अमित शाह ने जवाब देते हुए कहा कि 'पीएम अपने ऑफिस में है इनको ज्यादा सुनने का शौक है क्या? मेरे से निपट जाता है, तो काहे को प्रधानमंत्री को बुलाओ और तकलीफ होगी.'

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बुधवार को राज्यसभा में गृह मंत्री अमित शाह ने जैसे ही भाषण देना शुरू किया, वैसे ही विपक्ष ने हंगामा करते हुए सदन में प्रधानमंत्री मोदी को बुलाने की मांग की. इस दौरान कई बार अमित शाह को अपना भाषण रोकना पड़ा. दोनों ही पक्षों में जमकर बहस देखने को मिली. इस दौरान अमित शाह ने विपक्षी दलों को कहा कि पीएम अपने ऑफिस में है, इनको ज्यादा सुनने का शौक है. जब मेरे से ही निपट जाता है, तो प्रधानमंत्री को काहे को बुलाए, वह आएंगे तो तकलीफ ज्यादा होगी.
'प्रधानमंत्री आएंगे तो तकलीफ ज्यादा होगी'
राज्यसभा सत्र के दौरान बुधवार को गृह मंत्री अमित शाह ने जैसे ही 'ऑपरेशन सिंदूर' पर अपने भाषण की शुरुआत की, वैसे ही विपक्षी दलों ने हंगामा करना शुरू कर दिया. इस दौरान अमित शाह को कई बार अपना भाषण रोकना पड़ा, जिसका अमित शाह ने जवाब देते हुए कहा कि 'पीएम अपने ऑफिस में है इनको ज्यादा सुनने का शौक है क्या? मेरे से निपट जाता है, तो काहे को प्रधानमंत्री को बुलाओ और तकलीफ होगी.' दरअसल, विपक्ष का कहना था कि प्रधानमंत्री संसद परिसर में अगर मौजूद हैं, तो यह सदन का अपमान है.
VIDEO | Parliament Monsoon Session: Union Home Minister Amit Shah (@AmitShah ), addressing the Rajya Sabha, says, "I want to respond to those asking about the Prime Minister. I am here addressing their concerns. PM Modi is very much in office. If I can respond and clarify, then… pic.twitter.com/K60cVlyvtL
— Press Trust of India (@PTI_News) July 30, 2025
विपक्ष को अमित शाह ने दिया करारा जवाब
अमित शाह ने विपक्ष को करारा जवाब देते हुए कहा कि 'कांग्रेस पार्टी ज्यादातर मुद्दों पर मल्लिकार्जुन खरगे को बोलने नहीं देती और वह सवाल उठा रहे हैं. बीएसी की बैठक में यह तय किया गया था कि दोनों सदनों में 16-16 घंटे चर्चा की जाएगी. लेकिन जवाब कौन देगा ये सरकार और पीएम मोदी तय करेंगे.'
'सुलेमान ए ग्रेड का आतंकी था'
पहलगाम आतंकी हमले को अंजाम देने वाले आतंकियों में से 3 को सेना ने मौत के घाट उतार दिया. इस सफलता का जिक्र करते हुए अमित शाह ने कहा कि 'परसों ही तीन आतंकवादी, सुलेमान और अफगान और जिबरान को हमारे सुरक्षाबलों ने मौत के घाट उतार दिया. सुलेमान ए ग्रेड का LeT का आतंकी था. पहलगाम हमले में उसके राइफल से गोलियां चली थीं. सुरक्षाबलों ने उसे कश्मीर छोड़ के भागने नहीं दिया. अफगान और जिबरान भी आला दर्जे के लश्कर आतंकी थे. इससे यह क्लियर हो गया कि पहलगाम हमला लश्कर के इशारे पर ही हुआ. उनको भेजने वाले भी मारे गए, और जिन्होंने हमला किया वह भी मारे गए.'
'22 अप्रैल का दिन कभी नहीं भूलूंगा'
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राज्यसभा सत्र के दौरान 'ऑपरेशन सिंदूर' पर बोलते हुए शाह ने आगे कहा कि '22 अप्रैल को हमला हुआ. उसी दिन मेरी PM से बात हुई. मैं लगभग दो-ढाई बजे वहां गया. वह मेरे जीवन का ऐसा दिन है, जो मैं कभी नहीं भूलूंगा. एक बच्ची, जिसकी शादी 6 दिन पहले हुई थी, वो विधवा हो गई. मैं वो दृश्य नहीं भूल सकता. लोगों को क्यों मारा गया, क्योंकि वो संदेश देना चाहते थे कि कश्मीर आतंक से मुक्त नहीं होगा. मैं इस सदन से उन्हें संदेश देता हूं कि कश्मीर आतंकवाद से मुक्त होकर रहेगा.'