'बलूचिस्तान के सुराब शहर पर हमारा कब्जा...', BLA का दावा- मेन क्वेटा-कराची और सुराब-गिदर हाइवे पर भी उसका नियंत्रण
बलूच लिबरेशन आर्मी ने दावा किया है कि उन्होंने बलूचिस्तान के प्रमुख इलाकों पर अपना कब्जा कर लिया है. इसको लेकर पाकिस्तान के अंदर गृह युद्ध जैसे हालात बनते दिखाई दे रहे हैं. फिलहाल बलूच विद्रोहियों के दावों पर पाकिस्तान की सरकार की तरफ से कोई भी आधिकारिक प्रतिक्रिया सामने नहीं आई है.

एक कहावत जिसे आमतौर पर सभी ने सुना होगा "जैसा बोओगे वैसा काटोगे", इसी कहावत को चरितार्थ होते देखा जा सकता है पाकिस्तान में, जहां बलूच आर्मी ने देश के अंदर गृहयुद्ध जैसे हालात बना दिया है. पाकिस्तान की शहबाज सरकार अपने ही देश के बलूचिस्तान प्रांत को खोने के डर से चिंतित है. इस बीच बलूच लिबरेशन आर्मी ने दावा किया है कि, उन्होंने बलूचिस्तान के प्रमुख इलाकों पर अपना कब्जा कर लिया है. इसको लेकर पाकिस्तान के अंदर गृह युद्ध जैसे हालात बनते दिखाई दे रहे हैं. जानकारी के मुताबिक बीएलए ने शुक्रवार को बलूचिस्तान प्रांत के सुराब शहर पर कब्जा कर लिया है.
BLA ने सुराब शहर को किया अपने कब्जे में
बड़े मीडिया संस्थानों के पास मौजूद तस्वीर और वीडियो में इस बात की पुष्टि होती है कि बलूच लिबरेशन आर्मी ने सुराब शहर के पुलिस थानों में तोड़फोड़ की है. सुराब शहर के पुलिस थाने और सरकारी इमारत में तोड़फोड़ की जिम्मेदारी लेते हुए बीएलए अपने बयान जारी करते हुए कहा, "बीएलए के स्वतंत्रता सेनानियों ने सुराब शहर पर पूरा नियंत्रण कर लिया है, शहर के बैंक, लवी स्टेशन और पुलिस स्टेशन सहित प्रमुख सरकारी प्रतिष्ठानों पर बीएलए का कब्जा है." बीएलए के मुताबिक, "मेन क्वेटा-कराची और सुराब- गिदर राजमार्गों पर भी उसके लड़ाकों का कब्जा है और इन जगहों पर लगातार गश्त जारी है."
शहबाज सरकार ने साधी चुप्पी
बलूचिस्तान प्रांत के प्रमुख शहरों पर कब्जे को लेकर बीएलए के दावों पर पाकिस्तान की सरकार और सेना की ओर से अभी कोई आधिकारिक प्रतिक्रिया सामने नहीं आई है. बीएलए ने जिस सुराब शहर पर कब्जे का दावा किया है, वह सामरिक दृष्टि से काफी अहम है. बता दें कि यह शहर बलूचिस्तान प्रांत की राजधानी क्वेटा से शहर से मात्र 150 किलोमीटर की दूरी पर है. ऐसे में अब बलोच लड़कों के दावों को लेकर पाकिस्तान की सुरक्षा और खुफिया एजेंसी पर बड़ा सवाल खड़े कर रहे हैं. बलोच ने जिस सुराब शहर पर कब्जे का दावा किया है, वह बलूचिस्तान के प्रांत कालांत डिविजन का हिस्सा है.
बीएलए सरकार को दे रहा लगातार चुनौती
बताते चलें कि पिछले कुछ महीनो से लगातार बलूच लिबरेशन आर्मी पाकिस्तान की शहबाज सरकार को चुनौती दे रही है और बलूचिस्तान की आजादी को लेकर आवाज बुलंद कर रही है. ट्रेन हाईजैक करने से लेकर पाकिस्तान सेना पर हमले की जिम्मेदारी बीएलए ने लिया. इसी तरह मई के शुरुआती दिनों में क्वेटा-कराची हाईवे को बंद कर दिया और वाहन रोक कर तलाशी ली थी. इसके अलावा बलोच लड़ाकू ने मोंगोचार बाजार में घुसकर सरकारी भवनों को निशाना बनाते हुए तोड़फोड़ और आगजनी किया था. इन कार्यालयों में नेशनल डाटाबेस एंड रजिस्ट्री अथॉरिटी, न्यायिक परिसर और नेशनल बैंक ऑफ पंजाब जैसी इमारतें शामिल थी. इतना ही नहीं पुलिस की गाड़ी पर हमला कर 10 कैदियों को भी छुड़ाया गया था, जिन्हें गदानी जेल से क्वेटा और माच के केंद्रीय जेल ले जाए जा रहा था.