'अपने विदेश मंत्री पर भरोसा नहीं, लेकिन दूसरे देश पर भरोसा है…', जयशंकर के लिए विपक्ष से भिड़े अमित शाह, कहा- समझता हूं उनके लिए 'विदेश' का क्या महत्व है
सोमवार को लोकसभा के मॉनसून सत्र के दौरान गृहमंत्री अमित शाह ने विपक्ष पर करारा हमला किया. 'ऑपरेशन सिंदूर' को लेकर विदेश मंत्री एस जयशंकर के बयान पर विपक्ष द्वारा बार-बार हस्तक्षेप करने के बाद अमित शाह भड़क गए. इस दौरान उन्होंने कहा कि 'मुझे आपत्ति है कि इन्हें भारत के विदेश मंत्री पर भरोसा नहीं है, लेकिन किसी और देश पर है.'
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लोकसभा के मॉनसून सत्र में सोमवार को 'ऑपरेशन सिंदूर' और पहलगाम आतंकी हमले पर पक्ष और विपक्ष में जमकर बहस देखने को मिली. देश के इस मुद्दे को लेकर सदन में माहौल गर्मा गया. विदेश मंत्री एस जयशंकर जब भारत की कूटनीतिक, रणनीतिक और हमले पर सदन में अपना बयान दे रहे थे. उस दौरान विपक्षी सांसदों द्वारा बार-बार उन्हें बीच में रोकने-टोकने की कोशिश की गई, जिसके बाद विपक्ष की इस हरकत पर गृहमंत्री अमित शाह भड़क गए. उन्होंने विपक्ष को आड़े हाथों लेते हुए जमकर वार किया.
विपक्ष को अपने से ज्यादा दूसरे देशों पर भरोसा है'
22 अप्रैल को पहलगाम आतंकी हमले के बाद भारत सरकार द्वारा पाकिस्तान के खिलाफ चलाए गए 'ऑपरेशन सिंदूर' को लेकर विदेश मंत्री एस जयशंकर के बयान पर विपक्ष द्वारा बार-बार हस्तक्षेप करने के बाद अमित शाह भड़क गए. उन्होंने कहा कि 'मुझे आपत्ति है कि इन्हें भारत के विदेश मंत्री पर भरोसा नहीं है, लेकिन किसी और देश पर है. मैं समझता हूं कि इनके दल में 'विदेशियों' का महत्व है, लेकिन इसका मतलब यह नहीं कि विदेशी एजेंडा यहां संसद में थोपा जाए. यही वजह है कि आप लोग विपक्ष में बैठे हैं और अगले 20 साल तक वहीं बैठेंगे.'
'विदेश मंत्री ने भारत की विदेश नीति का बचाव किया'
संसद सत्र के दौरान विदेश मंत्री एस जयशंकर ने भारत के ऑपरेशन सिंदूर की कूटनीतिक सफलता को गिनाते हुआ कहा कि 'पहलगाम हमले की जिम्मेदारी लेने वाले 'द रेसिस्टेंस फ्रंट' (TRF) को अब वैश्विक आतंकी संगठन घोषित कर दिया गया है. यह भारत की लगातार अंतरराष्ट्रीय प्रयासों का एक परिणाम है.'
'किसने सोचा था कि इन ठिकानों को ध्वस्त किया जाएगा'
विदेश मंत्री एस जयशंकर ने आगे कहा कि 'आखिर किसने सोचा था कि पाकिस्तान के बहावलपुर और मुरिदके जैसे आतंकी ठिकानों को पूरी तरीके से ध्वस्त कर दिया जाएगा. ऐसे में देखा जाए, तो यह भारत की बढ़ती वैश्विक साख और आतंकवाद के खिलाफ सख्त रुख का एक बड़ा नतीजा है.'
'भारत को अपनी रक्षा करने का पूरा अधिकार है'
एस जयशंकर ने यह भी बताया कि 'क्वाड और ब्रिक्स जैसे समूह में शामिल कई देशों ने भी भारत के पहलगाम में हुए आतंकी हमले की निंदा की है.' इसके अलावा जयशंकर ने यह भी कहा कि जर्मनी की विदेश मंत्री ने भारत का समर्थन करते हुए कहा कि 'भारत को आतंक के खिलाफ अपनी रक्षा करने का पूरा अधिकार है. जर्मनी की तरह ही फ्रांस और यूरोपीय संघ के भी कई देशों ने इसी तरह से आतंक के खिलाफ इस लड़ाई में हमारा समर्थन जताया है.'
22 मई को हुआ था पहलगाम आतंकी हमला
बता दें कि 22 अप्रैल को पहलगाम में पर्यटकों के ऊपर आतंकियों ने गोली चलाई थी. इस हमले में 26 लोगों की मौत हुई थी. इनमें अधिकतर पर्यटक थे. पूरी दुनिया भर में इस हमले की निंदा हुई, उसके बाद भारत ने बदला लेने का प्लान बनाया. जिसके बाद 6 और 7 मई को पाकिस्तान और उसके POK वाले हिस्से में एयर स्ट्राइक कर 100 से ज्यादा आतंकियों को मार गिराया था. इस हमले के बाद पाकिस्तान ने भी भारत पर हमला करने की कई कोशिशें की, लेकिन भारत ने न सिर्फ इन हमलों को नाकाम किया, बल्कि पाकिस्तान के कई सैन्य एयरबेस को भी तबाह कर दिया.
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