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UP में मिशन 2027 की तैयारी तेज... SIR को लेकर एक्शन मोड में CM योगी, जेपी नड्डा के सामने कार्यकर्ताओं को दी सख्त हिदायत

लखनऊ में बीजेपी संगठन की बैठक हुई इसकी अध्यक्षता जेपी नड्डा ने की. सीएम योगी समेत वरिष्ठ पदाधिकारी मौजूद रहे. बैठक में 2027 विधानसभा चुनाव की तैयारी पर चर्चा हुई. इसके साथ ही पार्टी ने SIR अभियान को लेकर भी कार्यकर्ताओं को लगकार काम करने के निर्देश दिए है.

UP में मिशन 2027 की तैयारी तेज... SIR को लेकर एक्शन मोड में CM योगी, जेपी नड्डा के सामने कार्यकर्ताओं को दी सख्त हिदायत
Source: X/ @JPNadda

उत्तर प्रदेश की राजधानी लखनऊ में शनिवार को बीजेपी की अहम संगठनात्मक हुई. बैठक की अध्यक्षता पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष जेपी नड्डा ने की, साथ ही इस बैठक में सूबे के मुखिया योगी आदित्यानाथ भी शामिल हुए. बैठक में प्रदेश सरकार और संगठन के बीच बेहतर समन्वय पर विस्तार से चर्चा हुई. करीब एक घंटे तक चली इस बैठक को 2027 के विधानसभा चुनाव की दिशा तय करने वाला माना जा रहा है. बैठक का सबसे बड़ा फोकस मतदाता सूची के विशेष गहन पुनरीक्षण यानी SIR अभियान पर रहा.

बैठक में मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ, पार्टी के नवनिर्वाचित प्रदेश अध्यक्ष पंकज चौधरी, प्रदेश महामंत्री संगठन धर्मपाल सिंह सहित कई वरिष्ठ पदाधिकारी मौजूद रहे. जेपी नड्डा ने साफ शब्दों में कहा कि अगर 2027 का चुनाव जीतना है तो SIR अभियान में पूरी ताकत झोंकनी होगी. उन्होंने पदाधिकारियों को चेताया कि मतदाता सूची में थोड़ी सी भी लापरवाही पार्टी को भारी नुकसान पहुंचा सकती है.

SIR की प्रक्रिया में कार्यकर्ता एकजुट होकर करें काम 

जेपी नड्डा (JP Nadda) ने कहा कि SIR की डेडलाइन नजदीक है और ऐसे में हर कार्यकर्ता को सक्रिय भूमिका निभानी होगी. पात्र मतदाताओं के नाम जुड़वाना और फर्जी या गलत नाम कटवाना इस समय पार्टी की सर्वोच्च प्राथमिकता है. उन्होंने विशेष रूप से शहरी क्षेत्रों को लेकर चिंता जताई. नड्डा के मुताबिक बड़ी संख्या में ऐसे मतदाता हैं जो रोजगार या अन्य कारणों से ग्रामीण इलाकों में शिफ्ट हो रहे हैं, जिससे उनके नाम शहरी मतदाता सूची से कटने का खतरा बढ़ गया है. अगर समय रहते ध्यान नहीं दिया गया तो इसका सीधा असर चुनावी परिणाम पर पड़ेगा.

कार्यकर्ताओं से सुस्त रवैये से CM योगी नाराज

वहीं, बैठक में मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ (Yogi Adityanath) का रुख काफी सख्त नजर आया. उन्होंने कार्यकर्ताओं की सुस्ती पर नाराजगी जताई. सीएम योगी ने कहा कि विपक्ष की तुलना में बीजेपी कार्यकर्ता SIR अभियान में पीछे नजर आ रहे हैं. विपक्ष के लोग घर-घर जाकर फर्जी वोटर बनवाने में लगे हैं, जबकि भाजपा समर्थक मतदाता खुद जागरूक नहीं हो पा रहे हैं. उन्होंने दो टूक कहा कि अब कोई बहाना नहीं चलेगा और कार्यकर्ताओं को सारा काम छोड़कर घर-घर जाना होगा. सीएम योगी ने यह भी कहा कि शिकायतें मिल रही हैं कि शहरी मतदाताओं के नाम गलत तरीके से ग्रामीण क्षेत्रों में शिफ्ट किए जा रहे हैं. इससे पार्टी को सीधा नुकसान हो सकता है. उन्होंने आपत्तियां दाखिल करने में पार्टी की धीमी गति पर भी चिंता जताई और निर्देश दिया कि हर स्तर पर तेजी लाई जाए.

PM मोदी के दौरे को लेकर भी हुई चर्चा 

बैठक में आगामी कार्यक्रमों पर भी चर्चा हुई. 25 दिसंबर को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी द्वारा लखनऊ में राष्ट्र प्रेरणा स्थल के लोकार्पण और 26 दिसंबर को वीर बाल दिवस के आयोजन को लेकर रणनीति बनाई गई. प्रदेश महामंत्री संगठन धर्मपाल सिंह ने SIR अभियान और इन कार्यक्रमों की पूरी रूपरेखा बैठक के सामने रखी. प्रदेश अध्यक्ष पंकज चौधरी (Pankaj Chaudhary) ने बैठक में भरोसा दिलाया कि पार्टी कार्यकर्ता पूरी सक्रियता से SIR अभियान में जुटेंगे. उन्होंने कहा कि किसी भी स्तर पर लापरवाही नहीं बरती जाएगी और संगठन पूरी मजबूती के साथ मतदाता सूची को दुरुस्त करेगा.

SIR को लेकर बहुत ही गंभीरता से ले रही बीजेपी?

SIR को लेकर पार्टी की गंभीरता का अंदाजा इसी बात से लगाया जा सकता है कि रविवार 21 दिसंबर को इंदिरा गांधी प्रतिष्ठान में एक बड़ी बैठक बुलाई गई है. इस बैठक में मुख्यमंत्री योगी, दोनों उपमुख्यमंत्री, प्रदेश अध्यक्ष, महामंत्री संगठन, सभी जिला अध्यक्ष, मंडल पदाधिकारी, सांसद, विधायक और बूथ लेवल एजेंट शामिल होंगे. SIR की विस्तारित डेडलाइन 26 दिसंबर तक तय की गई है और पार्टी इसे अपनी सबसे बड़ी ताकत बनाने में जुटी है.

डिप्टी CM के आवास पहुंचे जेपी नड्डा 

जेपी नड्डा प्रदेश के उपमुख्यमंत्री ब्रजेश पाठक के सरकारी आवास भी पहुंचे. वहां ब्रजेश पाठक और उनकी पत्नी ने उनका गर्मजोशी से स्वागत किया और श्री राम दरबार की प्रतिमा भेंट की. इस मुलाकात में प्रदेश संगठन और आगामी राजनीतिक गतिविधियों पर विस्तृत चर्चा हुई. .

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बताते चलें कि यूपी की राजधानी लखनऊ में संगठन की यह बैठक साफ संकेत देती है कि बीजेपी 2027 के चुनाव को लेकर कोई जोखिम नहीं लेना चाहती. मतदाता सूची को मजबूत करना ही पार्टी की चुनावी जीत की पहली सीढ़ी माना जा रहा है.

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