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गोवा ने ओढ़ी सनातनी संस्कृति... 77 फीट ऊंची राम प्रतिमा ने बढ़ाई भव्यता, मूर्ति में दिखेगी अयोध्या के रामलला की झलक

Biggest Rama Statue in Goa: इस भव्य राम प्रतिमा के बनने से गोवा पर्यटन और आध्यात्मिक महत्व दोनों ही बढ़ेंगे. अब श्रद्धालु यहां आकर राम की दिव्यता का अनुभव कर सकते हैं और मठ के इतिहास और संस्कृति को भी जान पाएंगे.

Image Source: Social Media

Lord Rama Statue in Goa: गोवा की खूबसूरत बीच, पार्टी और पुर्तगाली संस्कृति के लिए मशहूर जगह अब एक नई खासियत जोड़ने जा रही है. यहां भगवान राम की 77 फीट ऊंची कांस्य की प्रतिमा स्थापित की जा रही है, जिसे दुनिया की सबसे ऊंची राम प्रतिमा कहा जा रहा है. पीएम नरेंद्र मोदी इस प्रतिमा का अनावरण करेंगे. 

प्रतिमा का निर्माण गोवा के गोकर्ण पर्तगाली जीवोत्तम मठ में किया जा रहा है, जो 550 साल पुराना ऐतिहासिक मठ है. इसे देखने वाले श्रद्धालु यहां आकर अयोध्या के रामलला की झलक भी महसूस कर पाएंगे, क्योंकि प्रतिमा का स्वरूप रामलला की तरह बनाया गया है.

हाथ में धनुष-बाण और चेहरे पर दिव्यता


28 नवंबर 2025 को यह भव्य प्रतिमा जनता के लिए खुली रहेगी. इसे नोएडा के मशहूर मूर्तिकार राम सुतार के मार्गदर्शन में बनाया गया है. राम सुतार ने पहले गुजरात में ‘स्टैच्यू ऑफ यूनिटी’ का निर्माण भी किया था.


प्रतिमा में भगवान राम के हाथ में धनुष-बाण हैं और उनके चेहरे पर सौम्यता और दिव्यता का भाव नजर आता है. मठ परिसर में राम प्रतिमा के साथ ‘रामायण थीम पार्क’ और राम संग्रहालय भी बनाया जा रहा है, जिससे भक्तों और पर्यटकों दोनों के लिए यह जगह और भी आकर्षक बन जाएगी.
 
गोकर्ण पर्तगाली जीवोत्तम मठ का इतिहास


यह मठ सारस्वत ब्राह्मण समुदाय का सम्मानित धार्मिक केंद्र है. इसकी स्थापना 1656 में श्री रामचंद्र तीर्थ ने की थी. मठ द्वैत संप्रदाय का अनुसरण करता है और इसे उडुपी में स्थित पालीमारु मठ से जोड़ा जाता है.
मठ की स्थापना और परंपरा को बनाए रखने के लिए आचार्यों ने शिष्यत्व और दीक्षा का महत्वपूर्ण काम किया. पालीमारु मठ के आचार्य श्री रामचंद्र तीर्थ ने वैकल्पिक व्यवस्था बनाई और योग्य शिष्य को दीक्षा देकर मठ की परंपरा को बचाया.

मठ की धार्मिक महत्ता


गोकर्ण मठ में भगवान राम के साथ लक्ष्मण और सीता की भी पूजा होती है. देशभर में मठ की 33 शाखाएं हैं. यह मठ न केवल धार्मिक दृष्टि से महत्वपूर्ण है, बल्कि गोवा और भारत के सांस्कृतिक और पर्यटन केंद्र के रूप में भी प्रसिद्ध है.

इस भव्य राम प्रतिमा के बनने से गोवा पर्यटन और आध्यात्मिक महत्व दोनों ही बढ़ेंगे. अब श्रद्धालु यहां आकर राम की दिव्यता का अनुभव कर सकते हैं और मठ के इतिहास और संस्कृति को भी जान पाएंगे.

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