दुश्मनों के लिए काल बनेगा Javelin Missiles… भारतीय सेना के बेड़े में हुआ शामिल, जानिए इसकी खासियत
Javeline Missiles: भारत ने अमेरिका के साथ एक डील की है, जिसके तहत अमेरिका जैवलिन एंटी-टैंक मिसाइल भारत को बेचने के लिए तैयार हो गया है.
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भारत सुरक्षा के क्षेत्र में लगातार अब अपनी सैन्य ताकत और क्षमता बढ़ा रहा है. भारतीय सैन्य बेड़ों में अत्याधुनिक हथियारों, टैंकों, बैलिस्टिक मिसाइलों को शामिल किया जा रहा है. इसी कड़ी में डिफेंस के क्षेत्र में भारत ने अमेरिका के साथ एक डील की है, जिसके तहत अमेरिका अब जैवलिन एंटी-टैंक मिसाइलें भारत को बेचने के लिए तैयार हो गया है. ये वही मिसाइलें हैं जो रूस-यूक्रेन जंग में रूस के बड़े-बड़े टैंकों को तबाह कर रही हैं.
जैवलिन एंटी-टैंक मिसाइल की ताकत और खासियत
जैवलिन दुनिया की सबसे खतरनाक अत्याधुनिक पोर्टेबल एंटी-टैंक मिसाइल सिस्टम है. साल 1996 से अमेरिकी सेना इसका इस्तेमाल कर रही है. इसे अमेरिका की दो बड़ी कंपनियां- लॉकहीड मार्टिन और आरटीएक्स मिलकर बनाती हैं. इसकी खासियत ये है कि सैनिक मिसाइल छोड़ने के बाद भाग सकते हैं. मिसाइल खुद अपना टार्गेट ढूँढकर टैंकों को तबाह करती हैं. ये मिसाइल करीब चार किलोमीटर तक के रेंज में किसी भी टैंक को उड़ा सकती है. एक सैनिक इसे आसानी से अपने कंधे पर लेकर घूम सकता है, क्योंकि इसका वजह सिर्फ 22 किलो होता है. इसका इस्तेमाल बंकर या हेलीकॉप्टर पर भी किया जाता है.
यूक्रेन ने रूस के खिलाफ Javeline का किया इस्तेमाल
24 फरवरी 2022 को रूस और यूक्रेन के बीच युद्ध की शुरुआत हुई थी और आज भी जारी है. इस युद्ध में अमेरिका ने यूक्रेन को हजारों जैवलिन मिसाइलें दीं, जिसने रूस की T-72, T90 जैसे मजबूत से मजबूत टैंकों को नेस्तोनाबूत कर दिया. इन मिसाइलों ने इतनी तबाही मचाई कि इसे ’Tank Killer’ कहा जाने लगा.
भारत को इससे कितना फायदा?
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वैसे तो भारत के पास मिसाइलों का जखीरा है लेकिन जैवलिन के आ जाने से भारत का सुरक्षा तंत्र और मजबूत होगा. ये मिसाइलें चीन और पाकिस्तान के नापाक मंसूबों पर पानी फेर सकती हैं. इससे पैदल सैनिकों की ताकत भी बढ़ेगी. दुश्मन टैंकों के लिए जैवलिन मिसाइलें सबसे बड़ा खतरा होगा.
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