झूठ की दुनिया का नया सिकंदर बना शहबाज शरीफ, आसिम मुनीर को खुश करने के लिए की लफ्फेबाज़ी की सारी हदें पार!
झूठ इतनी बार बोलो कि वो सच लगने लग जाए...शहबाज शरीफ यही बन गया है. शरीफ झूठ का सरदार बन गया है. वो पाक आर्मी और अपनी तबाही पर ऐसा झूठ बोला कि सच भी शरमा जाए.

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ऑपरेशन सिंदूर में भारत की कार्रवाई और पड़ी तगड़ी मार से उबरने की पाकिस्तान लगातार कोशिशें कर रहा है लेकिन उसका तरीका बिल्कुल अनोखा है. दुनिया में कोई भी देश अपनी हार और बर्बादी का जश्न नहीं मनाता, न कि सीजफायर को जीत मानकर रैली और जुलूस निकालते हैं. भारतीय सेना ने अपनी मिलिट्री कार्रवाई का सैटेलाइट इमेजरी के साथ लेखा-जोखा दुनिया के सामने रखा. वहीं पाकिस्तान आर्मी, एयरफोर्स और नेवी ने जो अपनी सरकार और आवाम को ट्रक की बत्ती के पीछे लगाया वो गज़ब है.
बीती रात पाकिस्तान के प्रधानमंत्री शहबाज़ शरीफ ने जो शेखी बघारी उसका कोई जवाब नहीं. शरीफ ने तीनों सेना के चीफ, आर्मी के अफसर और अन्य लोगों के सामने जो सरपट झूठ बोला, उसे सुनकर आपके कान से धुआं निकल जाएगा.
झूठ्ठा, झूठ का सरदार पाकिस्तान का पीएम जिस बेशर्मी से झूठ बोल रहा है उसकी आपको मिसाल नहीं मिलेगी. मुनीर भी हंस रहा है. हालांकि उसका ये कबूलनामा कि भारत ने उसके एयरबेस को तबाह कर दिया, सारी पोल खुल गई. पाकिस्तानियों जैसा बेशर्म मैंने दुनिया में नहीं देखा. सुनिए, कान से धुआं निकल… pic.twitter.com/PygkAUAbYY
— Guddu Khetan (@guddu_khetan) May 17, 2025
शहबाज शरीफ का ऐसा झूठ कि झूठ भी शरमा जाए!
पाकिस्तान की हार, जिसे वो अपनी आवाम के सामने जीत कह कर परोस रहा है, शहबाज शरीफ ने दावा किया कि वह फज्र (सुबह की नमाज) के बाद स्विमिंग के लिए गए थे और अपने साथ एक ‘सिक्योर फोन’ ले गए थे, ताकि कोई जरूरी सूचना मिले तो तुरंत जवाब दिया जा सके.
उन्होंने कहा, ‘मैं स्विमिंग कर रहा था, मेरे पास एक सिक्योर फोन था, और मैंने जिया को कहा कि जब घंटी बजे तो मुझे फौरन बताना. और किस्मत की बात थी, वह घंटी बजी… तो जनरल असिम मुनीर लाइन पर थे, कहने लगे कि वजीर ए आजम (प्रधानमंत्री) हमने बड़ा भरपूर हमने उनको जवाब दिया है और अब हमें सीजफायर करने की दरख्वास्त आ रही है. तो आपका क्या ख्याल है. मैंने कहा सिपहसालार मुनीर साहब इससे बड़ी इज्जत की क्या बात हो सकती है. आपने दुश्मन को एक भरपूर थप्पड़ मारा है. उसका सिर चकरा गया अब वह सीजफायर पर मजबूर है. तो मैं सोचता हूं कि आप बिस्मिल्लाह करें और इस सीजफायर के ऑफर को कबूल करें.’
'शहबाज शरीफ है बहुत हरीफ'
शहबाज शरीफ लगातार दावे कर रहा है कि उसकी आर्मी ने 6 फाइटर जेट्स गिराए. अब दुश्मन के दावे हैं, दावों का क्या? इसी झूठों के सरदार के रक्षा मंत्री ख्वाजा आसिफ से सीएनएन ने पूछा कि आप दावे कर रहें कि इंडियन जेट्स गिराए गए हैं, उसका प्रूफ क्या है, कहा है? ख्वाजा आसिफ जैसा एक मूर्ख और गैर जिम्मेदार व्यक्ति और रक्षा मंत्री ही हो सकता है जो सोशल मीडिया के फेक दावों, डॉक्टर्ड प्रोपेगंडा को सबूत के तौर पर पेश कर सकता है. वहीं सिंध का गवर्नर कमरान तेस्सोरी एक कटआउट से बने भारतीय राफेल लड़ाकू विमान के मॉडल को जलाकर और चाय पीते हुए पाकिस्तान की भारत पर फतह का ऐलान कर सकता है.
पाकिस्तान लगातार आतंकवाद पर पल्ले झाड़ता रहा है, लेकिन उसका रक्षा मंत्री याल्दा हकीम के शो पर साफ-साफ स्वीकार करता है कि पाकिस्तान अमेरिकी-यूरोपीय ताकतों के इशारों पर डर्टी गेम करता रहा है, यानी कि आतंकवाद फैलाता रहा है. दूसरी तरफ ऑपरेशन सिंदूर के बाद आतंकियों को स्टेट फुनरल दिया जाता है, जिसमें नेशनल फ्लैग लपेटा हुआ है. ये बताता है कि पाकिस्तान टेररिज्म को अपने स्टेट पॉलिसी के तौर पर इस्तेमाल करता है.
शहबाज के बयान पर सवाल, मुनीर की ब्रीफिंग पर हैरानी
शहबाज शरीफ ने कहा कि उसके देश ने फतह हासिल कर ली है, मुनीर ने कहा कि उसने भारत को सबक दे दिया है फिर वो सच्चा सबूत क्यों नहीं दे रहे हैं. शरीफ के दावे से कुछ सवाल उठते हैं जिसके जवाब देने होंगे. पाकिस्तान की ब्रीफिंग का हाल तो ये है कि न उनके पास सैटेलाइट इमेजरी है, न ही कोई सच्चाई. दूसरी तरफ DG ISPR का पूरा प्रोपेगेंडा डॉक्टर्ड, क्लिपिंग वीडियो पर आधारित था. जाहिर है कुछ कार्रवाई की हो तब न सबूत लाएंगे. दो चीजें स्पष्ट हो गईं कि पाकिस्तान न ही अपने यहां हमलों को रोक पाया और न ही इंडियन डिफेंस सिस्टम को भेद पाया.
सीजफायर को लेकर हकीकत क्या है?
Indian Army के DGMO लेफ्टिनेंट जनरल राजीव घई ने भारतीय सेना की ब्रीफिंग में साफ कर दिया था कि एयरबेस तबाह होने के बाद, जब चकलाला, और नूर खान एयर बेस हिट हुए तो पाक को लग गया कि अगर इस्लामाबाद तक पहुंच सकते हैं तो ये कही भी पहुंच सकते हैं, इसलिए डरकर उसके डीजीओमओ ने कॉल किया कि लेट्स टॉक ऑन डीएसकेलेशन. उस बातचीत के बाद 10 मई को शाम 5 बजे से सीमा पार गोलीबारी और हवाई घुसपैठ बंद करने पर सहमति बनी, और यह प्रस्ताव खुद पाकिस्तानी डीजीएमओ की ओर से आया था. इसके उलट, शहबाज शरीफ के बयान से ऐसा प्रतीत होता है कि सीजफायर का फैसला उनकी पहल पर हुआ, जो वास्तविकता से मेल नहीं खाता.
पाक आर्मी की कठपुतली शहबाज शरीफ!
पाकिस्तान के प्रधानमंत्री शहबाज शरीफ का यह दावा कि उन्होंने सेना प्रमुख को कड़ा जवाब देने का निर्देश दिया, यह हास्यास्पद ही है. ये कब से होने लगा कि पाक आर्मी उनसे आदेश लेने लगी. ये महज एक प्रयास है कि डूबती जहाज में अपनी सरकार को भी साथ रखो, क्राइम में जितने लोग होंगे उतना ठीक. ये भी कॉमेडी ही है कि अगर आपकी आर्मी जीत रही है तो आप सीजफायर के लिए उतावले क्यों हो गए.
पाकिस्तान का हाल खराब, चूरन बेचकर आवाम को खुश करने की कोशिश
सच्चाई यह है कि पाकिस्तान इस वक्त गहरे आंतरिक संकटों से जूझ रहा है. देश की अर्थव्यवस्था चरमराई हुई है, निवेशकों का भरोसा टूट चुका है, IMF की शर्तों के आगे सरकार झुकी हुई है, और विदेश नीति के मोर्चे पर खासकर भारत के साथ रिश्तों में कोई ठोस रणनीति नज़र नहीं आती. वहीं लंबे समय बाद हुए सैन्य तनाव में भी पाक आर्मी का क्रिएट किया हुआ हौआ अब खत्म हो गया है. आने वाले समय में तस्वीर और क्लियर हो जाएगी.