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'मुसलमानों के लिए भारत सबसे बेहतर देश...', मौलाना मदनी के बयान पर शाहनवाज हुसैन ने बोला हमला, कहा- यहां के हिंदू साथी से अच्छा कोई नहीं

शाहनवाज हुसैन ने मौलाना मदनी द्वारा सुप्रीम कोर्ट पर की गई टिप्पणी को दुर्भाग्यपूर्ण बताते हुए कहा कि 'भारत का संविधान सभी नागरिकों को सबसे अधिक अधिकार देता है, लेकिन अफसोस इस बात का है कि मौलाना मोहम्मद मदनी द्वारा 'जब-जब जुल्म होगा, तब-तब तो जिहाद होगा' जैसा बयान दिया गया. इसकी कड़ी निंदा करनी चाहिए.'

बीजेपी के वरिष्ठ नेता और राष्ट्रीय प्रवक्ता शाहनवाज हुसैन ने मौलाना महमूद मदनी के बयान पर करारा जवाब दिया है. उन्होंने कहा है कि भारत मुसलमान के लिए सबसे बेहतर देश है और यहां के हिंदू से अच्छा कोई साथी किसी अन्य देश में नहीं है. शाहनवाज ने यह भी कहा कि नरेंद्र मोदी से बेहतर कोई प्रधानमंत्री भी नहीं है. उन्होंने मौलाना मदनी द्वारा सुप्रीम कोर्ट पर की गई टिप्पणी को बेहद दुर्भाग्यपूर्ण बताया है. 

'भारत से बेहतर कोई देश नहीं' 

शाहनवाज हुसैन ने मौलाना मदनी द्वारा सुप्रीम कोर्ट पर की गई टिप्पणी को दुर्भाग्यपूर्ण बताते हुए कहा कि 'भारत का संविधान सभी नागरिकों को सबसे अधिक अधिकार देता है, लेकिन अफसोस इस बात का है कि मौलाना मोहम्मद मदनी द्वारा 'जब-जब जुल्म होगा, तब-तब तो जिहाद होगा' जैसा बयान दिया गया. इसकी कड़ी निंदा करनी चाहिए.' 

'मौलाना के बयान को कोई नहीं स्वीकारेगा'

बीजेपी के राष्ट्रीय प्रवक्ता ने कहा कि 'सुप्रीम कोर्ट पर मौलाना मदनी द्वारा की गई टिप्पणी बेहतर दुर्भाग्यपूर्ण है. मौलाना का यह कहना बेहद गलत है कि सुप्रीम कोर्ट अब सुप्रीम नहीं रहा, मैं कहता हूं कि मौलाना को अपना बयान वापस लेना चाहिए. इस तरह के किसी भी बयान को सभ्य समाज में स्वीकार नहीं किया जा सकता है.' 

क्या है मौलाना महमूद मदनी का विवादित बयान? 

बता दें कि जमीयत उलेमा-ए-हिंद के प्रमुख मौलाना मोहम्मद मदनी ने 2 दिन पहले एक विवादित बयान दिया था, उन्होंने कहा था कि 'दुख की बात है कि पिछले कुछ सालों में खासकर बाबरी मस्जिद और तीन तलाक जैसे मामलों में आए फैसलों के बाद यह राय बन रही है कि अदालतें हुकूमत के दबाव में काम कर रही हैं. मौजूदा एक्ट को नजरअंदाज करते हुए ज्ञानवापी और मथुरा के मामले की सुनवाई हो रही है.' इस दौरान उन्होंने यह भी कहा कि 'सुप्रीम कोर्ट उस वक्त तक ही सुप्रीम कहलाने का हक रखता है, जब तक कि संविधान को अमल कर रहा है.' मदनी ने यह भी कहा कि 'मुसलमानों के ऊपर गलत आरोप लगाए जाते हैं और 'जब-जब जुल्म होगा, तब-तब  जिहाद होगा.' इस दौरान मदनी ने कई अन्य मुद्दों पर भी अपना बयान दिया.' 

संसद के शीतकालीन सत्र की हुई शुरुआत 

बता दें कि सोमवार को संसद के शीतकालीन सत्र की शुरुआत हो गई. सत्र के पहले दिन प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने अपने संबोधन में कई महत्वपूर्ण मुद्दों को उठाया. उन्होंने कहा कि 'संसद देश के लिए महत्वपूर्ण विषयों पर खुलकर बहस करने की जगह है, लेकिन विपक्षी इसे हंगामा करने का मंच बना देता है. कई नए सांसद आए हैं और ऐसे समय में शांतिपूर्वक चर्चा होना जरूरी है. कांग्रेस अपनी हार स्वीकार नहीं कर पाती और संसद में लगातार शोर-शराबा करके माहौल बिगाड़ती है.'  

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