'हिन्दुत्व बचाने के लिए जरूरी है सनातन धर्म परीक्षण बोर्ड...', तिरुपति लड्डू घी विवाद के बीच डिप्टी CM पवन कल्याण की मांग
आंध्र प्रदेश के तिरुपति मंदिर में लड्डू में कथित मिलावटी घी विवाद के बीच उप मुख्यमंत्री पवन कल्याण ने सनातन धर्म की रक्षा के लिए ‘सनातन धर्म परीक्षण बोर्ड’ बनाने का आह्वान किया. उन्होंने कहा कि तिरुपति लड्डू सिर्फ मिठाई नहीं, बल्कि वैश्विक हिंदू आस्था का प्रतीक है और भक्तों की भावनाओं का मजाक उड़ाना अस्वीकार्य है.
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आंध्र प्रदेश के तिरुपति बालाजी मंदिर में हाल ही में लड्डू (प्रसादम) में कथित मिलावटी घी के इस्तेमाल को लेकर विवाद गरमाया हुआ है. इस मामले के बीच राज्य के उप मुख्यमंत्री पवन कल्याण ने सनातन धर्म और हिन्दुत्व की रक्षा के लिए ‘सनातन धर्म परीक्षण बोर्ड’ की स्थापना का आह्वान किया है. मंगलवार को सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म एक्स पर साझा की गई पोस्ट में पवन कल्याण ने कहा कि सनातनियों की भावनाओं और प्रथाओं का मजाक उड़ाया जा रहा है और इसे कमतर आंका जा रहा है, जिससे लाखों भक्तों का विश्वास आहत हो रहा है.
पवन कल्याण ने क्या कहा?
उप मुख्यमंत्री ने लिखा, 'वैश्विक हिंदू समुदाय के लिए तिरुमाला तिरुपति देवस्थानम सिर्फ एक तीर्थस्थल नहीं है; यह एक पवित्र आध्यात्मिक प्रवास है. तिरुपति लड्डू केवल मिठाई नहीं; बल्कि यह हमारी सामूहिक आस्था और गहन विश्वास का प्रतीक है. इसे हम परिवार, दोस्तों और अजनबियों में समान रूप से बांटते हैं, क्योंकि यह हमारे साझा विश्वास की भावना को दर्शाता है.' उन्होंने आगे कहा कि औसतन हर साल लगभग 2.5 करोड़ भक्त तिरुमाला आते हैं. जब सनातनियों की भावनाओं और प्रथाओं का मजाक उड़ाया जाता है या उन्हें कमतर आंका जाता है, तो यह केवल आहत करने वाला नहीं है, बल्कि विश्वभर के लाखों भक्तों की श्रद्धा और विश्वास को भी प्रभावित करता है. उप मुख्यमंत्री ने जोर देकर कहा कि धर्मनिरपेक्षता दोतरफा होनी चाहिए और किसी भी धार्मिक प्रथा का अपमान स्वीकार्य नहीं है.
"For the global Hindu community, Tirumala Tirupati Devasthanam is more than a pilgrimage center; it is a sacred spiritual sojourn. The Tirupati Laddu is not just a sweet; it is a shared emotion - we distribute it among friends, family and strangers alike, for it embodies our…
— Pawan Kalyan (@PawanKalyan) November 11, 2025
बोर्ड की स्थापना का क्या है उद्देश्य?
पवन कल्याण ने सनातन धर्म के संरक्षण और भक्तों की आस्था की रक्षा के लिए ‘सनातन धर्म परीक्षण बोर्ड’ बनाने का आह्वान किया. उन्होंने कहा कि बोर्ड का गठन सभी हितधारकों की सहमति से होना चाहिए और इसका उद्देश्य धर्म की सुरक्षा और सम्मान सुनिश्चित करना होगा. उप मुख्यमंत्री ने लिखा, “हमारी आस्था और परंपराओं की सुरक्षा से समझौता नहीं किया जा सकता. सनातन धर्म विश्व की सबसे प्राचीन और विकसित सभ्यताओं में से एक है, और अब समय आ गया है कि हम सभी हितधारकों की सहमति से इसका संरक्षण सुनिश्चित करें.”
तिरुपति लड्डू घी विवाद और SIT की जांच
इस बीच, मीडिया रिपोर्ट के अनुसार, 2019 से 2024 तक तिरुपति लड्डू में करीब 250 करोड़ रुपये के मिलावटी घी का इस्तेमाल किया गया था. यह खुलासा तिरुमाला तिरुपति देवस्थानम (TTD) के पूर्व कार्यकारी अधिकारी धर्म रेड्डी के मामले में SIT की पूछताछ के दौरान सामने आया. SIT ने TTD के पूर्व अध्यक्ष वाईवी सुब्बा रेड्डी को 13 नवंबर को पूछताछ के लिए नोटिस जारी किया है. बताया जा रहा है कि उन्होंने 15 नवंबर के बाद पेश होने का समय मांगा है.
TDP की प्रतिक्रिया
मुख्यमंत्री चंद्रबाबू नायडू की पार्टी टीडीपी ने भी इस मामले में पूर्व YSRCP सरकार की आलोचना की. टीडीपी ने सोशल मीडिया पोस्ट में लिखा कि तिरुमला लड्डुओं के शुद्ध घी के लिए गाय के दूध का इस्तेमाल किया जाता था, लेकिन YSRCP सरकार के दौरान कथित रूप से मिलावटी घी रसायनों, जानवरों की चर्बी और नकली तेलों से बनाया गया था. उप मुख्यमंत्री पवन कल्याण का कहना है कि यह बोर्ड सनातन धर्म की गरिमा और श्रद्धा की रक्षा में अहम भूमिका निभा सकता है. उन्होंने सभी हितधारकों से अनुरोध किया कि वे मिलकर इसे स्थापित करें, ताकि धार्मिक स्थलों, प्रथाओं और भक्तों की भावनाओं की सुरक्षा सुनिश्चित की जा सके.
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बताते चलें कि तिरुपति लड्डू विवाद और घी मिलावट के मामले ने भक्तों और जनता के बीच चिंता बढ़ा दी है. ऐसे में उप मुख्यमंत्री की मांग ने सनातन धर्म और हिन्दुत्व की रक्षा की दिशा में एक नया कदम उठाया है. बोर्ड के गठन से न केवल भक्तों का विश्वास मजबूत होगा, बल्कि धार्मिक स्थलों की गरिमा और आध्यात्मिक परंपराओं की सुरक्षा भी सुनिश्चित होगी.
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