साल 2030 से पहले घटने वाली है 6 ऐसी बड़ी घटनाए जिसे सुनकर उड़ जाएँगे आपके होश जानिए क्या कहती है भविष्य मालिका पुराण की भविष्यवाणी
क्या ख़त्म होने की कगार पर है दुनिया ? साल 2030 से पहले की 6 बड़ी घटनाएँ? अंधकार में किनका नामों-निशान मिट जाएगा ?भविष्य मालिका पुराण की भविष्यवाणी।

यूरोपीय देशों में से एक पोलैंड , जहां पिछले 45 सालों से भारत के किसी भी प्रधानमंत्री ने कदम नहीं रखा और अब जब पीएम मोदी पैलैंड पहुँचे हुए हैं, तो बदले की आग में जल रहे रूसी राष्ट्रपति पुतिन यूक्रेन को मिट्टी में मिलाने की कसम खाए हुए हैं। सबसे दिलचस्प बात ये कि पैलेंड से पीएम मोदी यूक्रेन भी जाएँगे। मात्र 7 घंटे बिताने के लिए ट्रेन से 20 घटों का सफ़र तय करके यूक्रेन पहुँचेंगे और ज़ाहिर सी बात है कि रूस-यूक्रेन के बीच छिड़ी जंग को ख़त्म करने की कोशिश भी करेंगे..लेकिन हालात अब ऐसे हैं कि उनकी कोशिशें काम नहीं आने वाली हैं और सिर्फ़ जंग की किनारे सिर्फ़ यूक्रेन और रूस ही नहीं खड़े हैं बल्कि गल्फ़ देशों से लेकर यूरोपीय देशों का हाल भी किसी से छिपा नहीं है। पीएम मोदी के इसी तीसरे कार्यकाल में भविष्य मालिका पुराण अनुसार, कुछ ऐसी अनचाही घटनाएँ होंगी, जो कलियुग के अंत का साफ़ संकेत है। साल 2030 से पहले की 6 बड़ी घटनाएँ और फिर दुनिया पर छा जाने वाला अंधेरा किनके मिट्टी में मिलने का समय नज़दीक है ? एक बार फिर क्यों डरा रही है संत अच्युतानंद दास महाराज की लिखी गई भविष्य मालिका पुराण।
परम पूजनीय संत अच्युतानंद दास महाराज द्वारा लिखा कलियुग का एकमात्र अक्षय ग्रंथ, भविष्य मालिका पुराण। प्रभु जगन्नाथ की दुनिया से आने वाला एक ऐसा दैवीय ग्रंथ हैं। जिसमें समाया है भविष्य का सार भविष्य के इसी सार में 6 ऐसी घटनाओं का ज़िक्र है, जो मानवजाति के अंत का संकेत देती है जो कि प्रभु जगन्नाथ की पावन धरा पर साढ़े 600 वर्ष पूर्व इस ग्रंथ को लिखा गया , जिस कारण प्रभु जगन्नाथ की दुनिया से जुड़ी एक-एक घटनाएँ आज की डेट में हक़ीक़त बनती जा रही है। जैसे, त्रिदेव के वस्त्रों का जलना और प्राचीन पेड़ का गिरना आदि। जगन्नाथ पुरी मंदिर की भविष्यवाणियों के अलावा और भी ऐसी भविष्यवाणियां हैं, जो कलियुग की चरम सीमा की तरफ इशारा करती हैं।2024 से 2030 तक का समय और इस बीच होने वाली 6 बड़ी घटनाएँ,कुछ इस प्रकार से हैं…
तृतीय विश्व युद्ध की चिंगारी - पहली घटना
भविष्य मालिका पुराण के हवाले से ये दावा आज भी किया जा रहा है कि दुनिया में धीरे-धीरे तनाव फैल जाएगा। तनाव इस तरह से बढ़ जाएगा कि दुनिया के कई देशों में गृहयुद्ध बढ़ते जाएंगे। एक तरफ प्राकृतिक आपदा मानवजाति को बेहाल करेगी, तो दूसरी तरफ गृहयुद्ध बढ़ते जाएंगे। दुनिया में तीसरे विश्वयुद्ध का आगाज होगा, जिसमें लोग कीट-पंतगों की तरफ मरेंगे और विश्व की आबादी केवल 64 करोड़ रह जाएगी।
आसमान में दिखेंगे दो सूरज - दूसरी घटना
सूर्य का प्रकाश जीवनदायक है, लेकिन बहुत जल्द यही प्रकाश मृत्यु की क्या पर लेटा देगा…क्यों भविष्य मालिक पुराण में इस बात की भविष्यवाणी है कि आसमान में दो सूरज निकलने का आभास होगा, जो एक संकेत होगा कि कलियुग अपनी चरम सीमा की तरफ बढ़ रहा है।विष्य मालिका में लिखी भविष्यवाणी के अनुसार सूर्य की भांति चमकने वाला पिंड बंगाल की खाड़ी में गिरेगा, जिससे ओडिशा जलमग्न हो जाएगा।
तीन चरणों में मचेगी तबाही - तीसरी घटना
धर्म ग्रंथों में भगवान विष्णु के जिस कल्कि अवतार का ज़िक्र है, उन्हीं के संदर्भ में भविष्य मालिका पुराण ये कहती है कि धरती 3 चरणों से होकर गुजरेगी। पहला चरण कलयुग का अंत का होगा। दूसरा चरण धरती के महाविनाश का होगा और तीसरा चरण एक नए युग का होगा, जिससे कि धरती पर एक नया युग आरम्भ होगा।
बदल जाएगी धरती की धुरी - चौथी घटना
प्राकृतिक आपदाओं से मचने वाली तबाही दुनिया के सामने है। इसी को लेकर भविष्य मालिका पुराण में इस बात का उल्लेख मिलता है कि धरती पर एक-साथ अलग-अलग जगहों पर बड़े भूकंप आएंगे, जिससे कि धरती की धुरी बदलने लग जाएगी और धरती ऐसी नजर नहीं आएगी, जैसे आज नजर आती है।
ख़त्म हो जाएगी किसानी - पाँचवीं घटना
भविष्य मालिका पुराण के हवाले से ये दावा किया जा रहा है कि एक ऐसा समय आएगा, जब किसान खेती करना बंद कर देंगे। खेती से मोहभंग होने के बाद किसान अपने खेतों में कुछ नहीं उगाएंगे और नए रोजगार के विकल्प तलाशेंगे। खेती बंद होने के कारण धरती पर सब्जियों और फलों की कमी होती जाएगी और महंगाई दिनों-दिन बढ़ती जाएगी।
7 दिनों तक अंधेरे में रहेगी दुनिया - छठी घटना
2022 से 2029 के बीच में एक ऐसी प्राकृतिक आपदा आएगी, जिसके कारण 7 दिनों तक धरती पर अंधकार छा जाएगा। भविष्य मालिका में लिखा गया है कि यह घटना 2022-2029 के बीच में कभी भी घट सकती है।
बीते कुछ सालों में विश्व ने अकाल से लेकर हाहाकार तक की तस्वीरें देखी है…कोरोना जैसी जानलेवा आपदा को झेला है। युद्ध के हालात बने हुए हैं। ऊपर से पीएम मोदी का तीसरा कार्यकाल, ऐसे में क्या भविष्य मालिका पुराण की भविष्यवाणियों पर यक़ीन किया जा सकता है।