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अब स्कूलों में सीखेंगे लोकतंत्र और नागरिक जिम्मेदारियां, दिल्ली में 15 अगस्त से शुरू होगा 'राष्ट्रनीति' पाठ

दिल्ली सरकार का ‘राष्ट्रनीति’ कार्यक्रम स्कूल शिक्षा को एक नए स्तर पर ले जाने की पहल है, जहां छात्र सिर्फ अच्छे विद्यार्थी नहीं, बल्कि समझदार नागरिक भी बनें। यह एक ऐसी कोशिश है जो आने वाले वर्षों में देश की लोकतांत्रिक नींव को और मजबूत बना सकती है.

Image credit: Education

दिल्ली सरकार अब स्कूलों में बच्चों को केवल किताबों तक सीमित नहीं रखना चाहती, बल्कि उन्हें लोकतंत्र और नागरिक जिम्मेदारियों की व्यवहारिक समझ भी देना चाहती है. इसी उद्देश्य से दिल्ली के सरकारी स्कूलों में ‘राष्ट्रनीति’ नाम का नया शैक्षणिक कार्यक्रम शुरू किया जा रहा है. शिक्षा विभाग के अनुसार, यह कार्यक्रम 15 अगस्त, यानी स्वतंत्रता दिवस के मौके पर लॉन्च किया जाएगा.

‘राष्ट्रनीति’ कार्यक्रम का मकसद छात्रों में नैतिक शासन, सक्रिय नागरिकता, नीति निर्माण और लोकतांत्रिक प्रक्रियाओं की समझ को बढ़ाना है. इस पहल के जरिए बच्चों को शासन की जमीनी प्रक्रिया से जोड़कर उन्हें एक जिम्मेदार नागरिक बनने की ओर प्रेरित किया जाएगा.

 हर स्कूल में बनेंगी 7 समितियाँ

इस कार्यक्रम के तहत दिल्ली सरकार ने निर्देश दिया है कि हर स्कूल में कम से कम सात समितियों का गठन किया जाए. इन समितियों का उद्देश्य बच्चों को 'राष्ट्रनीति' के मूल सिद्धांतों से जोड़ना और उन्हें शासन की प्रक्रिया का वास्तविक अनुभव देना होगा.

इन समितियों में शामिल होंगी:

पर्यावरण समिति
एंटी-बुलीइंग समिति
कैंटीन समिति
और अन्य चार समितियाँ जो बच्चों की रोज़मर्रा की स्कूली ज़िंदगी से जुड़ी होंगी.

सबसे खास बात यह है कि इन समितियों के नेतृत्व के लिए छात्रों के बीच चुनाव कराए जाएंगे. यानी बच्चे खुद उम्मीदवार बनेंगे, प्रचार करेंगे और वोटिंग के ज़रिए प्रतिनिधि चुनेंगे. शिक्षक इस प्रक्रिया में मार्गदर्शक की भूमिका निभाएंगे, लेकिन नेतृत्व पूरी तरह से बच्चों के हाथ में होगा.

 बच्चों को दी जाएगी लोकतंत्र और नीति निर्माण की व्यावहारिक जानकारी

‘राष्ट्रनीति’ कार्यक्रम सिर्फ एक थ्योरी आधारित विषय नहीं है. इसका उद्देश्य छात्रों को लोकतंत्र और शासन की उन प्रक्रियाओं से परिचित कराना है जो आमतौर पर केवल किताबों में पढ़ाई जाती हैं. इस कार्यक्रम के माध्यम से छात्र यह जान सकेंगे कि नीति कैसे बनती है,

निर्णय लेने की प्रक्रिया में क्या-क्या चरण होते हैं,
एक जिम्मेदार नागरिक के क्या कर्तव्य होते हैं,
और कैसे एक लोकतांत्रिक प्रणाली में आम नागरिक की भागीदारी ज़रूरी है.
यह पहल छात्रों में नेतृत्व क्षमता, टीमवर्क, समस्या समाधान और निर्णय लेने की समझ को भी मज़बूत करेगी.

क्यों है ‘राष्ट्रनीति’ खास?

दिल्ली सरकार का यह कदम शिक्षा के क्षेत्र में एक नई सोच और दिशा की ओर इशारा करता है. अब तक बच्चों को केवल किताबों में ही नागरिकशास्त्र और नैतिकता की जानकारी दी जाती थी, लेकिन अब उन्हें सीखने का मौका मिलेगा व्यवहारिक तरीके से.‘राष्ट्रनीति’ न केवल पढ़ाई का हिस्सा होगा, बल्कि यह बच्चों को समाज के लिए सोचने और जिम्मेदारी उठाने की प्रेरणा भी देगा. यह कार्यक्रम भविष्य में बेहतर नागरिक और जागरूक नेतृत्व तैयार करने की ओर एक महत्वपूर्ण कदम माना जा रहा है.

दिल्ली सरकार का ‘राष्ट्रनीति’ कार्यक्रम स्कूल शिक्षा को एक नए स्तर पर ले जाने की पहल है, जहां छात्र सिर्फ अच्छे विद्यार्थी नहीं, बल्कि समझदार नागरिक भी बनें। यह एक ऐसी कोशिश है जो आने वाले वर्षों में देश की लोकतांत्रिक नींव को और मजबूत बना सकती है.

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