इस बार दिवाली पर सिर्फ इतने घंटे मिलेंगे पटाखों के लिए, नियम तोड़ा तो भरना पड़ेगा जुर्माना
Delhi Crackers Rules: सुप्रीम कोर्ट के इस फैसले से साफ है कि सरकार और अदालतें लोगों की खुशियों और पर्यावरण के बीच संतुलन बनाना चाहती हैं. इसलिए इस दिवाली हम सभी की ज़िम्मेदारी है कि नियमों का पालन करें, ग्रीन पटाखे ही इस्तेमाल करें और एक स्वस्थ, सुरक्षित और खुशहाल दिवाली मनाएं.
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Delhi Crackers Rules: इस साल दिल्ली और एनसीआर के लोगों के लिए दिवाली कुछ खास होने जा रही है. पिछले कई सालों से पटाखों पर पाबंदी के चलते त्योहार की रौनक कम हो गई थी, लेकिन अब सुप्रीम कोर्ट ने एक बड़ा फैसला लेते हुए ग्रीन पटाखों को जलाने की अनुमति दे दी है. हालाँकि, यह मंज़ूरी कुछ सख्त नियमों और समय-सीमा के साथ दी गई है, जिससे पर्यावरण की सुरक्षा भी बनी रहे और लोग त्योहार का आनंद भी उठा सकें.
कब और कितने समय तक फोड़ सकते हैं पटाखे?
सुप्रीम कोर्ट ने साफ कहा है कि दिवाली से एक दिन पहले और दिवाली वाले दिन ही पटाखे जलाए जा सकते हैं. पटाखे फोड़ने का समय इस प्रकार होगा:
सुबह 6 बजे से 7 बजे तक
रात 8 बजे से 10 बजे तक
इन तय समयों के अलावा पटाखे चलाना नियमों का उल्लंघन माना जाएगा. और ध्यान रहे , केवल ग्रीन पटाखे ही जलाने की अनुमति है. ये पटाखे सामान्य पटाखों की तुलना में कम प्रदूषण फैलाते हैं. इसके अलावा, ऑनलाइन ग्रीन पटाखों की बिक्री पर भी पूरी तरह रोक रहेगी.
नियम तोड़े तो होगी सख्त सजा
अगर कोई व्यक्ति तय समय से बाहर पटाखे जलाता है या फिर बैन किए गए पटाखों का इस्तेमाल करता है, तो उसे सज़ा भुगतनी पड़ सकती है. नियमों के अनुसार:
200 रुपये जुर्माना
6 महीने तक की जेल
अगर कोई व्यक्ति बैन किए गए पटाखे बेचता या स्टोर करता है, तो उसके खिलाफ एक्सप्लोसिव एक्ट की धारा 9B के तहत:
5000 रुपये तक जुर्माना
3 साल तक की जेल
इसलिए जरूरी है कि हर नागरिक नियमों का पालन करे और ग्रीन पटाखों का ही उपयोग करें, वह भी तय समय में ही.
नियम तोड़ने वालों की करें शिकायत
अगर आप देखते हैं कि कोई व्यक्ति गैरकानूनी पटाखे जला रहा है या बेच रहा है, तो आप इसकी सीधी शिकायत पुलिस को कर सकते हैं. इसके लिए बस 112 नंबर पर कॉल करें। इसके अलावा, आप दिल्ली प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड (DPCB) की हेल्पलाइन पर भी संपर्क कर सकते हैं.
एक सुरक्षित और पर्यावरण के प्रति जिम्मेदार दिवाली
सुप्रीम कोर्ट के इस फैसले से साफ है कि सरकार और अदालतें लोगों की खुशियों और पर्यावरण के बीच संतुलन बनाना चाहती हैं. इसलिए इस दिवाली हम सभी की ज़िम्मेदारी है कि नियमों का पालन करें, ग्रीन पटाखे ही इस्तेमाल करें और एक स्वस्थ, सुरक्षित और खुशहाल दिवाली मनाएं.
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