भारी बारिश से सड़क पर भरे पानी में डूबकर मर्सिडीज हुई खराब, कारोबारी ने गाजियाबाद नगर निगम को भेजा 5 लाख का कानूनी नोटिस
5 लाख रुपये के मुआवज़े की मांग करते हुए भेजे गए इस कानूनी नोटिस में नगर निगम को सीधे तौर पर जवाबदेह ठहराया गया है. अमित का कहना है कि यह पहली बार नहीं है कि जलभराव ने आम नागरिकों को परेशान किया हो.
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गाजियाबाद के एक प्रतिष्ठित कारोबारी अमित किशोर उस समय हैरान रह गए जब उनकी लग्जरी मर्सिडीज कार भारी बारिश के बाद जलभराव की चपेट में आकर सड़क पर ही डूब गई. यह घटना न सिर्फ उनके लिए एक भावनात्मक झटका थी, बल्कि 5 लाख रुपये के भारी आर्थिक नुकसान का कारण भी बन गई.
कारोबारी ने नगर निगम को भेजा 5 लाख का कानूनी नोटिस
घटना के तुरंत बाद कार को नोएडा स्थित सर्विस सेंटर ले जाया गया, जहां मरम्मत का खर्च करीब पांच लाख रुपये आंका गया. इस नुकसान के लिए अमित ने गाजियाबाद नगर निगम की लापरवाही को जिम्मेदार ठहराते हुए, नगर आयुक्त को कानूनी नोटिस भेजा है.
अमित किशोर ने नगर निगम पर लगाया लापरवाही का आरोप
अमित किशोर का कहना है, “यह कोई नई बात नहीं है. हर साल बारिश में यही हाल होता है. अगर समय पर नालियों की सफाई होती, तो मेरी कार बर्बाद न होती. यह सीधे तौर पर नगर निगम की लापरवाही और भ्रष्टाचार का नतीजा है.”
अमित किशोर ने की 5 लाख रुपये मुआवज़े की मांग
#Ghaziabad के कारोबारी अमित किशोर की मर्सिडीज कार बारिश के बाद सड़क पर हुए जलभराव के बाद डूब गई और उससे कार खराब हो गई, कार को नोएडा के सर्विस सेंटर भेजा गया वहां 5 लाख का खर्च आया, अब अमित किशोर ने नगर आयुक्त को लीगल नोटिस भेजकर क्षतिपूर्ति की मांग की है। ये पहली बार है कि किसी… pic.twitter.com/WB4TFPlq45
— Lokesh Rai (@lokeshRlive) July 29, 2025
5 लाख रुपये के मुआवज़े की मांग करते हुए भेजे गए इस कानूनी नोटिस में नगर निगम को सीधे तौर पर जवाबदेह ठहराया गया है. अमित का कहना है कि यह पहली बार नहीं है कि जलभराव ने आम नागरिकों को परेशान किया हो, लेकिन यह पहली बार है जब किसी नागरिक ने सीधे हर्जाना मांगते हुए भ्रष्टाचार का आरोप लगाया है.
नागरिकों में बढ़ता आक्रोश
इस कानूनी पहल ने गाजियाबाद नगर निगम (@AMRUTCityGzb) की कार्यप्रणाली पर गंभीर सवाल खड़े कर दिए हैं. शहर के नागरिकों के बीच अब यह बहस छिड़ गई है कि क्या वाकई समय रहते ड्रेनेज सिस्टम की सफाई और रखरखाव होता है? क्या निगम को नागरिकों के नुकसान की जिम्मेदारी लेनी चाहिए?
अगर अमित किशोर का यह कदम सफल होता है, तो यह शहर के अन्य निवासियों के लिए एक मिसाल बन सकता है. वे भी अब निगम की जवाबदेही तय करने की दिशा में आगे बढ़ सकते हैं.
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अब यह देखना दिलचस्प होगा कि नगर निगम इस नोटिस का क्या जवाब देता है और क्या अमित को उनका हर्जाना मिल पाएगा या नहीं.
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