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'भारत से फौरन माफी मांगो...', Ex पेंटागन अधिकारी ने ट्रंप पर बोला हमला, पाकिस्तान से सांठगांठ की भी खोली पोल

अमेरिका और भारत के बीच संबंधों की तिलांजलि देने को लेकर पेंटागन के पूर्व अधिकारी माइकल रुबिन ने डोनाल्ड ट्रंप पर बड़ा आरोप लगाया है. उन्होंने कहा है कि ट्रंप शासन में दुनिया के सबसे बड़े लोकतंत्र के साथ से दुर्व्यवहार किया गया है, उसके लिए उन्हें माफी मांगनी चाहिए.

अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप के दूसरी बार सत्ता में आने के बाद से भारत और अमेरिका के बीच द्विपक्षीय संबंध तनाव के दौर से गुजर रहे हैं. टैरिफ के मसले को लगातार हवा दिए जाने और अपने दशकों पुराने दोस्त यानी हिंदुस्तान के लिए अपमानजनक भाषा के इस्तेमाल ने विश्वास की डोर को तोड़ दिया है. लगभग 25 वर्षों से जिन कूटनीतिक-रणनीतिक रिश्तों को मजबूत करने के लिए लगातार प्रयास किए जा रहे थे, ट्रंप ने उन पर एक झटके में पानी फेर दिया.

समाचार एजेंसी ANI से बात करते हुए माइकल रुबिन ने कहा कि अमेरिका के पाकिस्तान के साथ खड़ा होने का कोई तुक नहीं है. उन्होंने आगे कहा कि USA द्वारा पाकिस्तान को रणनीतिक साझीदार के रूप में अपनाने का कोई स्पष्ट कारण समझ नहीं आता. उन्होंने यह भी मांग की कि पाकिस्तान को आतंकवाद का राज्य प्रायोजक घोषित किया जाना चाहिए. इतना ही नहीं, उन्होंने यह भी कहा कि यदि पाकिस्तानी आर्मी चीफ आसिम मुनीर अमेरिका आते हैं, तो उनका सम्मान नहीं किया जाना चाहिए, बल्कि उन्हें गिरफ्तार कर जेल में डाल देना चाहिए.

'भारत से फौरन माफी मांगे अमेरिका'

जॉर्ज बुश के कार्यकाल में पेंटागन में रणनीतिक और कूटनीतिक मामलों की नीति निर्धारण में महत्वपूर्ण भूमिका निभाने वाले माइकल रुबिन ने कहा कि ट्रंप प्रशासन और अमेरिका ने दुनिया की सबसे बड़ी आबादी और सबसे बड़े लोकतंत्र भारत के साथ सही व्यवहार नहीं किया है और उसका अपमान किया है. उन्होंने इसको लेकर अमेरिका से माफी मांगने की आवश्यकता बताई. उन्होंने कहा, “हमें पर्दे के पीछे शांत कूटनीति की जरूरत है, और शायद किसी समय संयुक्त राज्य को इस बात पर खुलकर माफी मांगनी चाहिए कि हमने भारत के साथ कैसे व्यवहार किया. मुझे मालूम है कि राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप माफी मांगना पसंद नहीं करते, लेकिन संयुक्त राज्य अमेरिका और दुनिया के तमाम लोकतांत्रिक देशों के हित किसी एक व्यक्ति के अहंकार से कहीं ज्यादा महत्वपूर्ण होते हैं.”

ट्रंप को किसने दी रिश्वत?

उन्होंने आगे कहा कि हममें से बहुत लोग अभी भी हैरान हैं कि डोनाल्ड ट्रंप ने अमेरिका-भारत संबंधों को इस तरह कैसे उलट दिया. और कई लोग यह सवाल भी पूछते हैं कि ट्रंप को ऐसा करने के लिए कौन प्रेरित कर रहा है. शायद यह पाकिस्तानियों की खुशामद (चाटुकारिता) रही हो. उन्होंने आगे दावा किया कि इस बात की अधिक संभावना है कि पाकिस्तानियों या तुर्की और कतर में उनके समर्थकों की ओर से डोनाल्ड ट्रंप को कोई रिश्वत दी गई हो.

'अमेरिका के लिए यह विनाशकारी रिश्वत'

माइकल रुबिन ने चिंता जताते हुए कहा कि यदि ऐसा है, तो यह एक विनाशकारी रिश्वत है, जो अमेरिका पर आने वाले दशकों तक रणनीतिक घाटे का बोझ डालने वाली है. उन्होंने कहा कि अमेरिकी राष्ट्रपति को भारत का सम्मान करना चाहिए था. और तथ्य यह है कि ऐसा नहीं हो रहा है, यह उस घोर अक्षमता का प्रमाण है, जो राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप के दूसरे कार्यकाल की पहचान बन गई है.

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