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हनुमान जी का ऐसा मंदिर जहां पैर रखते ही हो जाता है भविष्य का पूर्वाभास, रहस्य जानकर हैरान रह जाएंगे आप!

मध्य प्रदेश में स्थित है भगवान हनुमान का ऐसा मंदिर जहां पैर रखते ही भविष्य में घटने वाली घटनाओं का पूर्वाभास हो जाता है, यहां दूर-दूर से भक्त हनुमान जी की अद्भुत प्रतिमा के दर्शन करने के लिए आते हैं. लेकिन क्या आप जानते हैं कि इस मंदिर से जुड़ी एक ऐसी पौराणिक कथा भी है जो आपको हैरान कर सकती है.

कई बार हमें आगामी समय में घटने वाली घटनाओं के संकेत पहले ही मिल जाते हैं. ये घटनाएं अच्छी और बुरी दोनों तरह की हो सकती हैं. सपनों और पूर्वाभास के जरिए अक्सर ऐसा होता है. वहीं, एक मंदिर ऐसा भी है जहां विराजमान भगवान हनुमान ऐसा ही कुछ पूर्वाभास देते हैं. चलिए विस्तार से जानते हैं इस रहस्यमयी मंदिर के बारे में…

ये मंदिर मध्य प्रदेश में स्थित है, जहां भविष्य में होने वाली घटनाओं का संकेत भगवान हनुमान देते हैं. ये चमत्कार सिद्धवीर खेड़ापति हनुमान मंदिर में होता है, जहां भक्त दूर-दूर से बालाजी महाराज के दर्शन के लिए आते हैं. मध्य प्रदेश के रतलाम-भोपाल रेलवे ट्रैक के पास शाजापुर में बोलाई गांव है, जहां चमत्कारी हनुमान जी विराजमान हैं. माना जाता है कि मंदिर 600 साल से ज्यादा पुराना है और यहां भगवान हनुमान भविष्य में घटने वाली घटनाओं का संकेत देते हैं.

मंदिर से जुड़ी लोककथाएं

मंदिर को लेकर एक किंवदंती भी प्रसिद्ध है. लोगों का मानना है कि मंदिर के पास दो रेलवे ट्रैक मौजूद हैं, जहां सालों पहले दो मालगाड़ियां आपस में टकरा गई थीं. हादसे के बाद मालगाड़ी चलाने वाले ड्राइवर ने बताया था कि उन्हें हादसे से पहले ही महसूस हो गया था कि कुछ बुरा होने वाला है, उनका मन भी हुआ कि मालगाड़ी की स्पीड कम की जाए, लेकिन फिर भी उन्होंने पूर्वाभास को दरकिनार करते हुए स्पीड जारी रखी और आगे हादसा हो गया.

हनुमान जी बुरा होने से पहले ही देते हैं संकेत

भक्तों का मानना है कि जब भी कोई घटना होने वाली होती है तो मंदिर में विराजमान हनुमान किसी न किसी तरह से संकेत देते हैं. भक्त अपने साथ होने वाली घटनाओं के बारे में जानने के लिए भी आते हैं. भक्तों का कहना है कि मंदिर में आते ही उन्हें पूर्वाभास जैसे अनुभव होने लगते हैं, कई बार लगता है कि कुछ तो होने वाला है.

मंदिर में स्थित हैं गणेश और हनुमान जी की अद्भुत प्रतिमा

सिद्धवीर खेड़ापति हनुमान मंदिर 600 साल से भी पुराना है. यहां अकेले भगवान हनुमान ही नहीं, बल्कि उनके साथ भगवान गणेश भी विराजमान हैं. इसलिए यह मंदिर और भी खास है, जहां दोनों भगवान एक ही प्रतिमा में समाहित हैं. इसी वजह से खेड़ापति हनुमान मंदिर की मान्यता बहुत ज्यादा है. यह देश में पहली ऐसी प्रतिमा है जिसमें हनुमान जी और गणेश जी दोनों एक साथ विराजमान हैं.

मंगलवार और शनिवार को मंदिर में होता है विशेष पूजा का आयोजन

मंदिर में मंगलवार और शनिवार को विशेष पूजा का आयोजन होता है. इस दिन रामायण का अखंड पाठ भगवान के सामने किया जाता है और भक्त राम भक्ति में डूबे दिखते हैं. दूर-दूर से भक्त मंदिर में दर्शन के लिए आते हैं. मंदिर में हनुमान जी की प्रतिमा को अलग-अलग रूपों से सजाया जाता है. कभी वे शिव अवतार तो कभी गणेश अवतार में दर्शन देते हैं.

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