राहुल गांधी की 'हाइड्रोजन बम PC', कहा- कांग्रेस के मतदाता, दलित और OBC निशाने पर
वोट चोरी के मुद्दे पर कई चौंकाने वाले दावे के बाद कांग्रेस नेता राहुल गांधी आज एक प्रेस कॉन्फ्रेंस कर रहे हैं. उन्होंने वोट चोरी को लेकर 'हाइड्रोजन बम' फोड़ने की बात कही है.
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लोकसभा में नेता प्रतिपक्ष राहुल गांधी इस वक्त दिल्ली के इंदिरा भवन में एक प्रेस कॉन्फ्रेंस कर रहे हैं. राहुल गांधी ने अपने पीसी की शुरुआत में कहा, 'सबूतों के साथ बात करेंगे, सबूतों से सब साफ है', कांग्रेस के मतदाता, दलित और OBC निशाने पर हैं.
राहुल गांधी का 'हाइड्रोजन बम' प्रेस कॉन्फ्रेंस
राहुल गांधी ने कहा, सबसे पहले तो यह वह H-बम नहीं है, असली H-बम अभी आने वाला है. यह तो बस एक और पड़ाव है, जिसके जरिए देश के युवाओं को दिखाया जा रहा है कि चुनावों में किस तरह गड़बड़ी की जा रही है. मैं पुख्ता सबूतों के साथ अपनी बात कह रहा हूं. देश का दलित और ओबीसी इनके निशाने पर है. मुझे अपने देश और संविधान से प्यार है और मैं अपने संविधान की रक्षा करूंगा. इस दौरान राहुल ने दावा किया कि कर्नाटक के आलंद में 6018 वोट खत्म किए गए.
#WATCH | Delhi: Lok Sabha LoP and Congress MP Rahul Gandhi says, "First of all, this is not the H-bomb, the H-bomb is coming. This is another milestone in setting up and demonstrating to the youth of this country how elections are being rigged." pic.twitter.com/VATXEeCH1o
— ANI (@ANI) September 18, 2025
राहुल गांधी ने चुनाव आयोग पर आरोप लगाते हुए कहा, आलंद कर्नाटक का एक विधानसभा क्षेत्र है. वहां किसी ने 6,018 वोट डिलीट करने की कोशिश की. हमें नहीं पता कि 2023 के चुनाव में कुल कितने वोट डिलीट किए गए, लेकिन यह संख्या 6,018 से कहीं ज्यादा थी. बस इतनी बात हुई कि इन 6,018 वोटों को डिलीट करते समय गलती से मामला पकड़ में आ गया.
आगे राहुल कहते हैं, हुआ यूं कि वहां की एक बूथ-लेवल अधिकारी ने देखा कि उसके चाचा का वोट डिलीट हो गया है. उसने जांच की कि उसके चाचा का वोट किसने डिलीट किया, तो पता चला कि पड़ोसी ने डिलीट किया है. जब उसने अपने पड़ोसी से पूछा तो उसने कहा कि मैंने कोई वोट डिलीट नहीं किया. यानी न तो जिस व्यक्ति ने वोट डिलीट किया और न ही जिसका वोट डिलीट हुआ, दोनों को इस बारे में कुछ पता नहीं था. असल में किसी और ताकत ने सिस्टम को हाईजैक करके ये वोट डिलीट किए थे.
मैं जो बात कहूंगा 100 प्रतिशत सच कहूंगा
राहुल गांधी ने कहा, भारत के मुख्य चुनाव आयुक्त उन लोगों की रक्षा कर रहे हैं जिन्होंने भारतीय लोकतंत्र को बर्बाद कर दिया है. उन्होंने कहा, मैं इस मंच से ऐसी कोई बात नहीं कहूंगा जो 100 प्रतिशत सच नहीं है. मैं ऐसा इंसान हूं जो अपने देश से प्यार करता है, अपने संविधान से प्यार करता है, लोकतांत्रिक प्रक्रिया से प्यार करता है और उसी प्रक्रिया की रक्षा कर रहा हूं. मैं यहां ऐसी कोई बात नहीं कहूंगा जो 100 प्रतिशत सबूतों पर आधारित न हो और जिसे आप परख न सकें.
आलंद में 6018 आवेदन मतदाताओं के नाम से दाखिल किए गए. जिन लोगों के नाम पर ये आवेदन दाखिल हुए, उन्होंने वास्तव में कभी आवेदन नहीं किया. ये आवेदन अपने आप सॉफ्टवेयर के जरिए किए गए. आलंद में वोटर हटाने के लिए कर्नाटक से बाहर के, अलग-अलग राज्यों के मोबाइल नंबरों का इस्तेमाल किया गया, और ये काम कांग्रेस मतदाताओं को निशाना बनाकर किया गया.
राहुल गांधी ने कहा, यह कैसे किया जा रहा है और मैं क्यों कह रहा हूं, और हम क्यों कह रहे हैं कि यह काम सेंट्रलाइज्ड तरीके से किया जा रहा है. यह व्यक्तियों के जरिए नहीं, बल्कि सॉफ्टवेयर के जरिए हो रहा है. सीरियल नंबरों को देखिए... एक सॉफ्टवेयर बूथ पर पहली सूचीबद्ध नाम उठाकर उसका इस्तेमाल वोट हटाने के लिए कर रहा है. किसी ने एक ऑटोमेटेड प्रोग्राम चलाया ताकि यह सुनिश्चित किया जा सके कि बूथ पर पहला मतदाता ही आवेदक दिखे. उसी व्यक्ति ने राज्य से बाहर के मोबाइल फोन लिए और उनका इस्तेमाल करके आवेदन दाखिल किया. हमें पूरा यकीन है कि यह सेंट्रलाइज्ड तरीके से और बड़े पैमाने पर किया गया. यह काम किसी कार्यकर्ता के स्तर पर नहीं, बल्कि पूरे सिस्टम के स्तर पर किया गया है.
ज्ञानेश कुमार कर रहे वोट चोरों की रक्षा
राहुल गांधी ने मुख्य चुनाव आयुक्त पर बड़ा आरोप लगाते हुए कहा, ज्ञानेश कुमार जी वोट-चोरों की रक्षा कर रहे हैं. यह साफ और स्पष्ट सबूत है. इसमें कोई कन्फ्यूजन नहीं है. उन्होंने कहा, मैं ज्ञानेश कुमार के खिलाफ इतने सीधे आरोप क्यों लगा रहा हूं. कर्नाटक में इस मामले की जांच जारी है. कर्नाटक की CID ने 18 महीनों में चुनाव आयोग को 18 पत्र भेजे हैं और उनसे कुछ बहुत ही सरल तथ्य मांगे हैं.
पहला, हमें वह डेस्टिनेशन IP दीजिए जिससे ये फॉर्म भरे गए. दूसरा, हमें उन डिवाइस डेस्टिनेशन पोर्ट्स दीजिए जिससे ये आवेदन दाखिल किए गए. और तीसरा, सबसे महत्वपूर्ण, OTP ट्रेल्स दीजिए क्योंकि आवेदन दाखिल करने के लिए OTP लेना पड़ता है. 18 महीनों में 18 बार कर्नाटक CID ने चुनाव आयोग से यह मांगा, लेकिन उन्हें यह नहीं दिया जा रहा. उन्हें क्यों नहीं दिया जा रहा? क्योंकि इससे हमें पता चल जाएगा कि यह ऑपरेशन कहां से चल रहा है, और हमें पूरी तरह यकीन है कि यह हमें उसी जगह तक ले जाएगा.
आगे राहुल गांधी ने कहा, ईमानदारी से कहूं तो जो मैं यहां कर रहा हूं, वह मेरा काम नहीं है. मेरा काम लोकतांत्रिक प्रणाली में भाग लेना है. मेरा काम लोकतांत्रिक प्रणाली की रक्षा करना नहीं है. यह काम भारत की संस्थाओं का है; लेकिन वो इसे नहीं कर रही हैं, इसलिए मुझे यह करना पड़ रहा है. हमारी प्रजेंटेशन के अंत तक, जो 2-3 महीने लेगी, आपको इसमें कोई संदेह नहीं रहेगा कि भारत में राज्य दर राज्य, लोकसभा चुनाव दर लोकसभा चुनाव वोट चोरी की गई है. आगे राहुल गांधी ने कहा कि हमें अब चुनाव आयोग के अंदर से मदद मिलनी शुरू हो गई है. मैं स्पष्ट कर दूं कि हमें अब चुनाव आयोग के अंदर से जानकारी मिल रही है, और यह प्रक्रिया रुकने वाली नहीं है.
एक घंटे की देरी से शुरू हुई प्रेस कॉन्फ्रेंस
कांग्रेस सांसद की ये प्रेस कॉन्फ्रेंस सुबह 10 बजे होनी थी, लेकिन एक घंटे की देरी से 11 बजे शुरू हुई. राहुल गांधी के प्रेस कॉन्फ्रेंस से पहले कांग्रेस ने एक्स पर पोस्ट कर लिखा, कुर्सी की पेटी बांध लीजिए
कुर्सी की पेटी बांध लीजिए... pic.twitter.com/5MQ2Svj5Kk
— Congress (@INCIndia) September 18, 2025यह भी पढ़ें
7 अगस्त को राहुल गांधी ने फोड़ा था एटम बमराहुल गांधी ने बीते एक सितंबर को पटना में ‘वोटर अधिकार यात्रा’ के समापन पर ‘वोट चोरी’ से जुड़े अपने पहले के खुलासे का हवाला दिया. उन्होंने दावा किया था कि 'एटम बम' के बाद अब 'हाइड्रोजन बम' आने वाला है, जिसके बाद प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी अपना मुंह नहीं दिखा पाएंगे. उन्होंने बेंगलुरु के महादेवपुरा विधानसभा क्षेत्र में कथित वोट चोरी का मुद्दा बीते सात अगस्त को प्रेस कॉन्फ्रेंस जरिये उठाया था. इस खुलासे को उन्होंने 'एटम बम' कहा था.
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